हाल ही में सोशल मीडिया पर एक दावा व्यापक रूप से शेयर किया जा रहा है कि हार्वर्ड यूनिवर्सिटी ने ‘सुजूद’ आसन का नाम दिया है, जो अनिवार्य रूप से इस्लामी प्रार्थनाओं में साष्टांग प्रणाम की क्रिया है, इसे पीठ दर्द के लिए सबसे अच्छा उपाय बताया गया है.

कई फ़ेसबुक अकाउंट्स ने इस दावे को शेयर किया है.

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खुद को ‘न्यूज़ और मीडिया वेबसाइट’ बताने वाले इंस्टाग्राम अकाउंट @taazakhabarofficial0 ने भी इस दावे को अपने पेज पर पोस्ट किया है. (आर्काइव्ड लिंक)

 

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ये जानकारी पहली बार कब शेयर की गई, इसकी जांच करते वक्त हमने पाया कि इसे 2023 में भी वायरल हुआ था.

16 अगस्त 2023 को X यूज़र @AllahGreatQuran ने कुछ ऐसा ही शेयर किया था. पोस्ट को 600,000 से ज़्यादा बार देखा गया और लगभग 5 हज़ार बार रीशेयर किया गया. (आर्काइव लिंक)

एक अन्य वेरिफ़ाईड X यूज़र @Al__Quraan ने भी लगभग उस वक्त इसे पोस्ट किया. इसे 850,000 से ज़्यादा बार देखा गया है और 5,700 बार रीशेयर किया गया है. (आर्काइव्ड लिंक)

हमने 2023 के कई अन्य X पोस्ट ढूंढे, जो उसी दावे का प्रचार करते थे. (आर्काइव 123)

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फ़ैक्ट-चेक

दावे से संबंधित शुरूआती सोर्स को ढूंढने के लिए, ऑल्ट न्यूज़ ने X पर कीवर्ड सर्च किया. हमें हार्वर्ड हेल्थ के वेरिफ़ाईड X अकाउंट (@हार्वर्डहेल्थ) पर 2021 की एक X पोस्ट मिली. (आर्काइव)

पोस्ट में हार्वर्ड हेल्थ द्वारा पब्लिश 2020 के एक आर्टिकल का लिंक था, जो हार्वर्ड मेडिकल स्कूल से संबंधित है. हालांकि, आर्टिकल में रीढ़ की हड्डी की समस्याओं को दूर रखने के लिए नियमित व्यायाम के महत्व के बारे में बात की गई है, लेकिन इसमें कहीं भी ‘सुजूद’ आसन का ज़िक्र नहीं है. हमने देखा कि आर्टिकल के साथ दी गई तस्वीर दैनिक प्रार्थना के दौरान साष्टांग प्रणाम करने की इस्लामी प्रथा की तरह ही है.

इस प्रकार ये संभावना है कि सोशल मीडिया यूज़र्स के एक वर्ग ने हार्वर्ड हेल्थ की X पोस्ट में प्रतिनिधि सामान्य तस्वीर को ग़लत तरीके से पेश किया होगा क्योंकि हार्वर्ड हेल्थ ने पीठ दर्द के इलाज के रूप में ‘सुजूद’ आसन को बढ़ावा दिया था और बाद में एक मुस्लिम व्यक्ति की तस्वीर के साथ इस दावे को शेयर किया था. फैक्ट ये है कि हार्वर्ड हेल्थ का आर्टिकल जिसमें पीठ दर्द से निपटने की रणनीतियों के बारे में बात की गई है, उसमें साष्टांग प्रणाम की इस्लामी क्रिया का कोई संदर्भ नहीं है, जिसे ‘सुजूद’, ‘सिजदा’ या ‘सेजदा’ के नाम से जाना जाता है.

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