पहलगाम आतंकी हमले का जवाब देते हुए भारत ने 6 और 7 मई की रात में पाकिस्तान में स्थित 9 आतंकी ठिकानों पर कारवाई करते हुए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ चलाया था. इस हमले के बारे में 7 मई की सुबह MEA ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित की. प्रेस इन्फॉर्मेशन ब्यूरो इंडिया ने इसका लाइव स्ट्रीम किया और हमले को लेकर ब्रीफ़ दी. इस प्रेस ब्रीफिंग में 2019 में पुलवामा आतंकी हमले का बताकर PIB ने एक वीडियो चलाया गया जिसमें एक सड़क पर ब्लास्ट होता है. फुटेज के दौरान, स्क्रीन पर ‘पुलवामा अटैक, 2019′ और ’40 मृत, 5 घायल’ लिखा है.
क्या है सच?
ऑल्ट न्यूज़ ने इस वायरल फुटेज के बारे में साल 2020 में ही फ़ैक्ट चेक आर्टिकल पब्लिश किया था. हमने बताया था कि ये वीडियो साल 2008 में यूट्यूब पर पोस्ट किया गया था. कैप्शन में इस वीडियो को इराक का बताया गया है.
इस यूट्यूब वीडियो में स्क्रीन पर 9 फरवरी 2007 की तारीख है और दोपहर के 3 बजकर 55 मिनट का वक़्त लिखा है. यानी, ये क्लिप 2019 के पुलवामा आतंकी हमले की हो ही नहीं सकती.
2007 में 9 फरवरी को इराक में ऐसा कोई हमला हुआ था या नहीं, ये सर्च करने पर ऑल्ट न्यूज़ को यूके सरकार की वेबसाईट पर ऑपरेशन इराक के दौरान मारे गए ब्रिटिश नागरिकों के बारे में जानकारी मिली. इसके मुताबिक, 9 फरवरी 2007 को सड़क के किनारे पर लगे बम विस्फोट के कारण प्राइवेट ल्यूक डैनियल सिम्पसन, प्रथम बटालियन, यॉर्कशायर रेजिमेंट घायल हुए थे. बाद में उनकी मौत हो गई थी.
ऑल्ट न्यूज़ इस बात की पुष्टि नहीं करता है कि ये वीडियो उसी हमले का है. लेकिन इतना तो साफ है कि ये वीडियो 2019 के पुलवामा अटैक का नहीं है.
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