नागरिकता संशोधन अधिनियम (CAA) और नेशनल रजिस्टर ऑफ सिटिजन्स (NRC) के चल रहे विरोध के संदर्भ में कथित तौर पर पुलिस की बर्बरता को दर्शाता एक वीडियो सोशल मीडिया में और खास तौर पर व्हाट्सप्प पे वायरल है। वीडियो के साथ वायरल सन्देश में दावा है कि ये असम में हाल की स्थिति को दर्शाता है। संदेश कुछ इस तरह है, “असम में NRC लागू, लोगों को घरों से उठाना शुरु हो चुका है। न्यूज़ वाले आपको ये नहीं दिखाएगी, क्योंकि वो बिक चुकी है। अब आपकी और हमारी ज़िम्मेदारी है इस वीडियो को ज़्यादा से ज़्यादा शेयर करने की। #policewalegundde” – Asam me NRC lagu, logo ko gharoo se uthana shuru ho chuka h. News wale aapko ye nahi dekhayegi, kyun ki wo bik chuki h, ab aapki aur humari zimmadari h is video ko ziyada se ziyada share karne ki. #policewalegundde”
Asam me NRC lagu, logo ko gharoo se uthana shuru ho chuka h.
News wale aapko ye nahi dekhayegi, kyun ki wo bik chuki h, ab aapki aur humari zimmadari h is video ko ziyada se ziyada share karne ki.#policewalegundde pic.twitter.com/jkJVwg9eDf— mr Khalifa (@ah1_anwar) January 2, 2020
ऑल्ट न्यूज़ के अधिकृत ऐप पर इस वीडियो की पड़ताल के कई अनुरोध आए हैं।
ऑल्ट न्यूज़ के व्हाट्सप्प नंबर, +91 76000 11160 पर 1 जनवरी, 2020 से इस वीडियो की सच्चाई जानने के लिए कई मैसेज आए हैं।
बांग्लादेश का पुराना वीडियो
ध्यान से देखने पर वीडियो में पुलिस की काली वर्दी पर RAB लिखा हुआ दिखता है। रैपिड एक्शन बटालियन (RAB – Rapid Action Battalion) बांग्लादेश पुलिस की अपराध और आतंकवाद विरोधी इकाई है।
इस आधार पर हमने यूट्यूब पर कीवर्ड्स सर्च किए और थोड़ा स्क्रोल करने पर हमें यही वीडियो मिल गया, जिसे जून 2014 में यूट्यूब पर मई, 2013 में हुई बांग्लादेश की घटना बताकर अपलोड किया गया है। वीडियो का शीर्षक है, “5 May 2013 RAB & Police killing metion in Bangladesh”
https://www.youtube.com/watch?v=dQplZSo58Ic
6 मई, 2013 को प्रकाशित BBC की रिपोर्ट के अनुसार, बांग्लादेश में हुए प्रदर्शन में टकराव से 27 लोगों की मौत की खबर है। इस रिपोर्ट में आगे लिखा है, “मृतकों और घायलों की संख्या की अलग-अलग खबरें आ रही है, लेकिन पुलिस ने पुष्टि की है कि कांचपुर में मृतकों में दो पुलिस अधिकारी और सुरक्षा बल के एक सदस्य शामिल थे। केंद्रीय ढाका में एक छत से घटनाओं को देखने वाले एक गवाह ने कहा कि प्रदर्शनकारी बहुत आक्रामक थे, कुछ लोग पत्थर फेंक रहे थे, जिससे स्थिति जल्दी हिंसक हो गई … पुलिस के पास जवाब देने के अलावा कोई विकल्प नहीं था।”
6 मई, 2013 को Channel 4 News ने इस दंगे के दृश्य प्रसारित किए हैं, जिसमें पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच झड़प देखा जा सकता है।
Al Jazeera ने 14 मई, 2013 को इस घटना पर वीडियो रिपोर्ट प्रकाशित किया था, जिसका शीर्षक है “वीडियो का दृश्य यह सुझाव देते हैं कि बांग्लादेश मौत की संख्या को छुपा रहा” -(अनुवाद)
Al Jazeera के वीडियो का एक फ्रेम पूरी तरह वायरल वीडियो से मेल खाता है, जैसा कि नीचे तस्वीर में देखा जा सकता है। बाईं तरफ वायरल वीडियो में 02:01 मिनट का फ्रेम है और दायीं तरफ Al Jazeera के वीडियो का दृश्य।
इस तुलना से पता चलता है कि वायरल वीडियो बांग्लादेश का है ना कि असम का। इस वीडियो की पड़ताल द क्विंट ने भी की है।
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