सोशल मीडिया पर एक तस्वीर काफ़ी शेयर की जा रही है जिसमें बिस्तर पर लेटे हुए एक बुज़ुर्ग को देखा जा सकता है. दावा है कि बापू सूरत सिंह ने किसानों के प्रदर्शन के चलते खाना-पीना छोड़ दिया है. फ़ेसबुक पेज ‘K9media’ ने ये तस्वीर इसी दावे के साथ पोस्ट की. ऑल्ट न्यूज़ ने पहले भी कई बार इस पेज को गलत जानकारियां शेयर करते हुए पाया है जिसे आप यहां पर पढ़ सकते हैं. (पोस्ट का आर्काइव लिंक)
फ़ेसबुक पेज ‘Kanhaiya Kumar – Youthicon’ ने ये तस्वीर इसी दावे के साथ पोस्ट की है.
फ़ेसबुक यूज़र मनोजसिंघ परमार ने भी ये तस्वीर पोस्ट की है.
ये तस्वीर ‘#बापूसूरतसिंह’ हैशटैग के साथ फ़ेसबुक पर वायरल है.
फ़ैक्ट-चेक
आसान सा रिवर्स इमेज सर्च करने पर हमें ये तस्वीर 20 अक्टूबर 2015 के एक ब्लॉगपोस्ट में मिली. ब्लॉग के मुताबिक, 82 साल के मानवाधिकार ऐक्टिविस्ट बापू सूरत सिंह 277 दिनों से भूख हड़ताल पर हैं. उनकी मांग थी कि सिख और अन्य अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों को रिहा किया जाए जो अपनी सज़ा खत्म होने के बाद भी जेल में बंद हैं.
फ़ेसबुक पेज ‘बापू सूरत सिंह खालसा – संघर्ष जारी है’ ने ये तस्वीर 23 सितंबर 2015 को पोस्ट की थी.
‘सुख रिलीफ़ – SOPW’ नामक NGO के फ़ेसबुक पेज ने ये तस्वीर 6 अक्टूबर 2015 को पोस्ट की थी. इसके अलावा, इस पेज ने बापू सूरत सिंह की एक और तस्वीर 21 सितंबर 2015 को पोस्ट की थी. पोस्ट के मुताबिक, ये तस्वीर बापू सूरत सिंह की भूख हड़ताल के 250 वें दिन की है.
6 दिसम्बर 2015 की इंडियन एक्स्प्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, बापू सूरत सिंह का एक कथित वीडियो उस वक़्त सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था. वीडियो में कथित रूप से बापू सूरत सिंह खाना खाते हुए दिखते हैं. रिपोर्ट के मुताबिक, इस मामले में बापू सूरत सिंह के बेटे रवि इंदर्जित सिंह गोगी ने बताया था कि उनके पिता की हालत खराब हो गई थी. इस कारण उन्हें अस्पताल ले जाया गया था जहां पर बापू सूरत सिंह को कुछ इन्जेक्शन दिए गए और उसके बाद उन्हें अपनी भूख हड़ताल के बारे में कुछ याद नहीं था. उन्हें खिलाने का कारण सिर्फ़ और सिर्फ़ उनकी खराब हालत थी.
8 जुलाई 2020 की ‘सिख 24’ की रिपोर्ट के मुताबिक, 7 जुलाई 2020 को बापू सूरत सिंह के शांतिपूर्ण भूख हड़ताल के 2 हज़ार दिन पूरे हुए थे. रिपोर्ट में बताया गया है कि बापू सूरत सिंह ने 16 जनवरी 2015 को ये भूख हड़ताल शुरू की थी. रिपोर्ट के मुताबिक, बापू को लुधियाना के DMC अस्पताल में रखा गया था. सर्च करने पर हमें 25 अप्रैल 2015 का यूट्यूब वीडियो मिला. इस वीडियो में इस भूख हड़ताल की वजह मानवाधिकारों के लिए लड़ाई को बताया गया है.
इस तरह, साल 2015 में पंजाब के ऐक्टिविस्ट बापू सूरत सिंह के भूख हड़ताल के वक़्त की तस्वीर हाल में किसान प्रदर्शनों के चलते शेयर की गई. पहले भी पुरानी और असंबंधित घटनाओं की तस्वीरें और वीडियोज़ किसान प्रदर्शन से जोड़कर शेयर किये गए हैं.
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