लाठी-डंडों और तलवारों से लैस लोगों का एक वीडियो सोशल मीडिया में प्रसारित किया जा रहा है, जिसमें उन्हें पीएम नरेंद्र मोदी, बजरंग दल और शिवसेना के खिलाफ नारे लगाते हुए सुना जा सकता है। ट्विटर उपयोगकर्ता सुशील कुमार ने यह वीडियो इस संदेश के साथ पोस्ट किया है, “भारत का डरा हुआ, खौफजदा, पीड़ित समुदाय, हाथों में तलवार लेकर शिवसेना हाय हाय और बजरंग दल हाय हाय के नारे लगा रहा है. भाई-भाई और सेक्युलरिज्म का विधवा विलाप करने वालों को नहीं दिखेगा यह सब.” इस लेख के लिखे जाने तक, इस ट्वीट के 450 से अधिक रीट्वीट हुए हैं।

यही वीडियो, जुलाई 2019 की शुरुआत में, इस संदेश के साथ साझा किया गया था कि झारखंड में तबरेज अंसारी की भीड़ द्वारा हत्या के खिलाफ मुस्लिम समुदाय ने आगरा में सड़कों पर प्रदर्शन किया। ऐसे ही संदेश के साथ फेसबुक पर कुछ पेज — Ai MiM Rayachoty youth  और Dhaka New imim Club  — द्वारा पोस्ट किए गए समान वीडियो को करीब 37,000 बार शेयर और 7 लाख से अधिक बार देखा गया है।

तथ्य-जांच

डिजिटल सत्यापन टूल Invid का उपयोग करते हुए, ऑल्ट न्यूज़ ने इस वीडियो को कई फ़्रेमों में तोड़ा और इनमें से एक फ्रेम को गूगल पर सर्च करने पर हमेंआज तक  द्वारा प्रकाशित एक तथ्य-जांच लेख मिला। लेख के अनुसार, वीडियो गोपालगंज, बिहार का है। ऑल्ट न्यूज़ यह ढूंढ पाया कि, 4 नवंबर 2014 को एक यूट्यूब उपयोगकर्ता ने इस वीडियो को पोस्ट किया था। साझा किए वीडियो के इस लंबे संस्करण में 0:24वें मिनट से लेकर 1:17वें मिनट तक, 53-सेकंड की वायरल क्लिप को देखा जा सकता है।

इस वीडियो को देखकर, यह स्पष्ट है कि वायरल क्लिप में सुना गया ऑडियो, जिसे अब आगरा का बताकर साझा किया गया है, पीएम मोदी, शिवसेना और बजरंग दल के खिलाफ नारेबाज़ी के साथ एडिट किया (अलग से डाला) गया था। 2014 में पोस्ट किए गए वीडियो के गैर संपादित संस्करण में, केवल ड्रम पीटने की आवाज़ सुनी जा सकती है।

2017 में उदयपुर में हुए विरोध से लिया ऑडियो

यह नारा- “हिंदुस्तान में रहना होगा अल्लाह -ओ -अकबर कहना होगा” को गूगल पर सर्च करने से, ऑल्ट न्यूज़ को यह वीडियो 29 दिसंबर, 2017 को यूट्यूब पर पोस्ट किया हुआ मिला। नीचे शामिल किए गए वीडियो में शुरू से लेकर 53 सेकंड तक, वायरल क्लिपिंग में सुनाई दे रहे समान ऑडियो को सुना जा सकता है।

इंडिया टीवी की एक रिपोर्ट के अनुसार, उक्त घटना 13 दिसंबर, 2017 को उदयपुर में हुई थी, जिसमें शिवसेना, बजरंग दल और पीएम मोदी के खिलाफ ऐसे ही नारे लगाए गए थे। शंभू लाल रेगर नामक एक व्यक्ति द्वारा एक मुस्लिम मज़दूर की निर्मम हत्या के कारण यह विरोध प्रदर्शन हुआ था। यह राजस्थान के उदयपुर में चेतक सर्कल के पास आयोजित किया गया था।

निष्कर्ष रूप में, यह कहा जा सकता है-

1. यह वीडियो मुहर्रम जुलूस का है जो 2014 में बिहार में हुआ था।

2. वायरल वीडियो का ऑडियो एक विरोध प्रदर्शन का है जो 2017 में उदयपुर, राजस्थान में हुआ था

इस क्लिप को, बिहार के वीडियो पर उदयपुर के विरोध प्रदर्शन के ऑडियो को सुपरइम्पोज़ करके बनाया गया है।

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About the Author

Jignesh is a writer and researcher at Alt News. He has a knack for visual investigation with a major interest in fact-checking videos and images. He has completed his Masters in Journalism from Gujarat University.