सोशल मीडिया पर अखबार के एक विज्ञापन की तस्वीर वायरल है. दावा किया जा रहा है कि ये नैशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेस टेस्ट, NEET-UG पेपर लीक के लाभार्थियों की तस्वीर है. तस्वीर को इस दावे के साथ शेयर किया जा रहा है कि इसमें लीक से लाभान्वित हुए व्यक्तियों के नाम, स्कोर और तस्वीरें सूचीबद्ध हैं. सोशल मीडिया यूज़र्स इस बात की ओर इशारा कर रहे हैं कि विज्ञापन में दिखाए गए ज़्यादातर लोग मुस्लिम लगते हैं. इसलिए ऐसा हो सकता है कि मुसलमानों ने पेपर लीक कराया या इससे लाभ उठाया है.

इस तस्वीर को शेयर करते हुए एक्स यूज़र भारतिया सिटीजन 🇮🇳 (@LawAcademics) ने लिखा: “ये तस्वीरें NEET प्रवेश क्वेश्चन पेपर लीक लाभार्थियों की हैं. बस देखें और अनुमान लगाएं कि वे कौन और किस धर्म के हैं? सिर्फ मुसलमान हैं” इस ट्वीट को 10 लाख से ज़्यादा बार देखा गया है और 6,800 से ज़्यादा बार रिट्वीट किया गया है. (आर्काइव)

प्रॉपगैंडा आउटलेट सुदर्शन न्यूज़ के मुख्य संपादक सुरेश चव्हाणके (@SureshChavhanke) ने भी वायरल तस्वीर शेयर की और इसे ‘परीक्षा जिहाद’ बताया. (आर्काइव)

एक्स यूज़र अनुपम मिश्रा (@scribe9104) ने वायरल तस्वीर को ऐसे ही दावे के साथ शेयर किया. ट्वीट को 2.67 लाख से ज़्यादा बार देखा गया है और 4,900 से ज़्यादा बार रीट्वीट किया गया है. अनुपम अपने बायो में खुद को ‘इंजीनियर से वकील, और वकील से पत्रकार बने’ बताते हैं. (आर्काइव)

कई अन्य यूज़र्स ने भी ये तस्वीर ऐसे ही दावे के साथ शेयर की. नीचे ऐसे कुछ उदाहरण दिए गए हैं.

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फ़ैक्ट-चेक

हमने देखा कि @LawAcademics के ट्वीट पर, कमेंट करके कई यूज़र्स ने ये बताया था कि ये दावा झूठा है. कुछ ने केरल पुलिस को भी टैग किया था.

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हमें زماں (@delhiite_) का एक कोट-ट्वीट मिला. यहां यूज़र ने ज़िक्र किया था कि तस्वीर यूनिवर्सल इंस्टीट्यूट, कोट्टक्कल, केरल का एक विज्ञापन था जिसमें NEET 2024 के टॉपर्स को दिखाया गया था.

आगे की जांच करने पर, हमने देखा कि अखबार की कतरन मातृभूमि अखबार के त्रिवेन्द्रम वर्जन की थी. विज्ञापन के नीचे यूनिवर्सल इंस्टीट्यूट कोटाक्कल का ज़िक्र देखा जा सकता है. टॉप में लिखा है, “कोट्टाकल यूनिवर्सल इंस्टीट्यूट ने रजत जयंती पर केरल में धूम मचा दी.”

इसे और ज़्यादा वेरिफ़ाई करने के लिए, हमने संस्थान की वेबसाइट को चेक किया जिससे हमें NEET 2024 के लिए ‘घोषणा’ सेक्शन के अंतर्गत तस्वीर और नामों की वही लिस्ट मिली.

ये विज्ञापन मातृभूमि ईपेपर पर भी देखा जा सकता है.

ऑल्ट न्यूज़ ने संस्थान के अकादमिक निदेशक अब्दुल हमीद से संपर्क किया. उन्होंने कंफ़र्म किया कि ये कोचिंग सेंटर के NEET 2024 के टॉपर्स का एक विज्ञापन था जिसे संस्थान की ओर से जारी किया गया था. उन्होंने कहा कि विज्ञापन में दिखाए गए ज़्यादातर छात्र मुस्लिम समुदाय से हैं, इसका कारण ये था कि संस्थान केरल के मालाबार क्षेत्र में स्थित है जहां मुस्लिम बहुल आबादी थी. उन्होंने आगे बताया कि अन्य समुदायों के छात्र भी टॉपर्स की सूची में शामिल हैं.

हमीद ने ऑल्ट न्यूज़ को बताया कि उन्होंने अखबार के विज्ञापन के बारे में ग़लत सूचना फ़ैलाने वालों के खिलाफ़ केरल पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है.

2011 की जनगणना के आंकड़ों के मुताबिक, केरल के कोटाक्कल शहर की आबादी में मुस्लिम 72.99% और हिंदू 26.13% हैं.

कुल मिलाकर, ये दावा ग़लत है कि वायरल अखबार की क्लिपिंग में NEET-UG पेपर लीक के लाभार्थियों की तस्वीरें और नाम हैं.

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