सोशल मीडिया पर ये दावे वायरल हैं कि एक यूरोपीयन रिसर्च सर्वे में भारत को एशिया में आतंकवाद का सबसे बड़ा सोर्स घोषित किया गया है.
X अकाउंट ‘@NavCom24’ ने ये दावा 21 फ़रवरी को बैकग्राउंड में तिरंगे के साथ भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तस्वीर के साथ पोस्ट किया. इस पोस्ट को 1 लाख से ज़्यादा लोगों ने देखा है.
ध्यान दें कि इस X अकाउंट पर फिलहाल भारत में रोक लगा दी गई है.
एक और X अकाउंट, @GlobalEyeInfo या The Global Eye, जो खुद को “X पर स्वतंत्र न्यूज़ एजेंसी” बताता है, ने यही वायरल दावा शेयर किया. हालांकि, पिछले यूज़र्स की तरह, इस अकाउंट में भी ये ज़िक्र नहीं किया गया था कि किस यूरोपीय संस्था ने ये रिसर्च किया था. (आर्काइव)
BREAKING: 🇮🇳 India declared the largest source of terrorism in Asia by a European research survey. pic.twitter.com/3QOs7xzY1E
— The Global Eye (@GlobalEyeInfo) February 21, 2025
उसी दिन, X यूज़र ‘@TamzidSalehin’ ने लाल शैतानी आंखों वाली पीएम मोदी की एक विकृत तस्वीर के साथ ऐसा ही दावा शेयर किया, और इसे “ब्रेकिंग” न्यूज़ कहा. (आर्काइव)
🚨BREAKING: India has been declared the largest source of terrorism in Asia by a European research survey. pic.twitter.com/LGDMGymmh8
— Tamzid (@TamzidSalehin) February 21, 2025
कई एकाउंट्स ने भी इसी तरह के दावे पोस्ट किए.
ध्यान दें कि ऊपर बताए गए ज़्यादातर एकाउंट्स में ऐसे कंटेंट है जो या तो पाकिस्तान समर्थक है या बांग्लादेश समर्थक है और ये अक्सर भारत विरोधी पोस्ट करते हैं.
फ़ैक्ट-चेक
ऑल्ट न्यूज़ ने वायरल दावे का सच जानने के लिए सर्च किया. लेकिन ऐसे दावों का समर्थन करने वाली कोई रिपोर्ट या कोई विश्वसनीय सबूत नहीं मिले.
19 फ़रवरी को वायर एजेंसी, प्रेस ट्रस्ट ऑफ़ इंडिया ने एक रिपोर्ट पब्लिश की थी जिसमें संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी प्रतिनिधि राजदूत पर्वतनेनी हरीश का हवाला देते हुए कहा गया था: “पाकिस्तान आतंकवाद का वैश्विक केंद्र है, जो 20 से अधिक संयुक्त राष्ट्र-सूचीबद्ध आतंकवादी संस्थाओं को पनाह देता है और सीमा पार आतंकवाद को राज्य समर्थन प्रदान करता है.”
राजदूत ने आगे कहा कि ये बहुत विडंबनापूर्ण है कि पाकिस्तान आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में सबसे आगे होने के लिए खुद की तारीफ़ करता है जबकि भारत जैश-ए-मोहम्मद और हरकत उल मुजाहिदीन सहित अन्य के माध्यम से देश द्वारा किए गए आतंकवादी कृत्यों का शिकार रहा है.
इन दावों की जांच करते समय, हमें पिछले साल फ़रवरी में पब्लिश इंस्टीट्यूट फॉर इकोनॉमिक्स एंड पीस (IEP) की 2024 वैश्विक आतंकवाद सूचकांक (GTI) रिपोर्ट मिली.
IEP की रिपोर्ट (जो वैश्विक रुझानों और आतंकवाद के समग्र प्रभाव को देखती है) ने साल 2023 के लिए 163 देशों में पाकिस्तान को चौथे स्थान पर रखा है. भारत इसमें चौदहवें स्थान पर है.
ये रैंकिंग GTI स्कोर पर आधारित हैं जो पांच साल की अवधि में न केवल मौत बल्कि किसी विशेष साल में आतंकवाद से होने वाली घटनाओं, बंधकों और चोटों पर भी विचार करती है.
2024 की रिपोर्ट के मुताबिक़, पाकिस्तान सूचकांक में 2016 से तीन पायदान ऊपर चढ़कर चौथे स्थान पर पहुंच गया, “ये सबसे खराब स्थिति है.” नाइजीरिया और सोमालिया के साथ पड़ोसी देश पाकिस्तान 2011 के बाद से लगातार आतंकवाद से सबसे ज़्यादा प्रभावित देशों में सेweक रहा है. रिपोर्ट में भारत के बारे में ज़्यादा कुछ नहीं कहा गया है.
कुल मिलाकर, ये दावा फ़र्ज़ी है कि एक यूरोपीय रिसर्च सर्वे द्वारा भारत को एशिया में आतंकवाद का सबसे बड़ा सोर्स करार दिया गया है. हाल में ऐसा कोई ‘यूरोपीय रिसर्च सर्वे’ नहीं हुआ है जो ऐसा कहता हो और न ही किसी विश्वसनीय यूरोपीय सर्वेक्षण एजेंसी ने ऐसा दावा किया है.
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