सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल है. वीडियो में एक व्यक्ति स्टेज पर भाषण देते हुए कह रहा है कि उत्तर प्रदेश में आज तक ऐसा कोई IPS, PCS या अधिकारी पैदा नहीं हुआ है जो कमाल अख्तर को मना कर दे. ये वीडियो ABP न्यूज़ के प्रसारण का है. वीडियो में स्क्रीन पर सपा नेता कमाल अख्तर के विवादित बयान देने की बात बताई जा रही है. इस वीडियो के बाद से एक और वीडियो दिखता है जिसमें पुलिस एक व्यक्ति को लाठियों से मारते हुए दिख रही है. ये क्लिप शेयर करते हुए दावा किया जा रहा है कि कमाल अख्तर के इस बयान पर यूपी पुलिस ने उनकी पिटाई की. साथ ही वायरल मेसेज में लिखा है – “योगी यूं ही योगी नहीं है.”
ट्विटर यूज़र्स अरुण शुक्ला ने ये वीडियो इसी दावे के साथ ट्वीट किया. (ट्वीट का आर्काइव लिंक)
दोस्तों कमाल अख्तर यूपी में जिस की तूती बोलती है यह बोलती थी योगी यूं ही योगी नहीं है.पुलिस निभा रही है ड्राई क्लीनर्स का रोल कपड़ों उसमें से धूल झाड़ रही है 😂😂😁 pic.twitter.com/5U0MUb3JES
— 💞अरुण शुक्ला 💞 (@shukla28) October 23, 2021
एक और ट्विटर यूज़र ने भी ये वीडियो इसी दावे के साथ ट्वीट किया. (आर्काइव लिंक)
*हमें तो आजतक पता ही नहीं था कि योगी के UP में एक नया नेता पैदा हुआ ” कमाल अख्तर ,, की तूती बोलती है और योगी को खुला च्यालेँज करता है । इसे तो कोई छू भी नहीं सकता । आप भी पूरी VDO देखें ।* 🤔🤔🤔🤔 pic.twitter.com/Vr8JdfbRmD
— Satyendra Chaurasia🇮🇳 सनातनी #TeamSP (@satyendra_jhind) October 25, 2021
फ़ेसबुक और ट्विटर पर ये वीडियो काफ़ी शेयर किया गया है.
फ़ैक्ट-चेक
क्लिप के पहले वीडियो के बारे में सर्च करते हुए ऑल्ट न्यूज़ को 9 अप्रैल 2021 की ABP गंगा की वीडियो रिपोर्ट मिली. रिपोर्ट में 1 मिनट 18 सेकंड के बाद वायरल क्लिप का हिस्सा दिखता है. वीडियो का टाइटल है – “अमरोहा में सपा नेता ने दिया विवादित बोल, बोले- किसी अधिकारी में हिम्मत नहीं, जो मुझे मना कर दें”.
ऑल्ट न्यूज़ क्लिप में दिख रहे दूसरे वीडियो की जांच दिसम्बर 2017 में ही कर चुका है. उस वक़्त भी ये वीडियो इसी दावे के साथ शेयर किया गया था कि यूपी पुलिस ने कमाल अख्तर की पिटाई की. असल में, ये वीडियो समाजवादी नेता राजा चतुर्वेदी का है. ऑल्ट न्यूज़ को ये वीडियो 25 अप्रैल 2011 को अपलोड किया हुआ मिला. वीडियो के साथ लिखा है – “यूपी विधानसभा में 21 फ़रवरी 2011 को मौजूद समाजवादी पार्टी नेता राजा चतुर्वेदी”. यूट्यूब ने इस वीडियो पर प्रतिबन्ध लगा दिया है. लेकिन पूरा वीडियो आप यहां पर देख सकते हैं.
आगे, सर्च करने पर हमें 23 फ़रवरी 2011 की द इंडियन एक्स्प्रेस की रिपोर्ट मिली. आर्टिकल में बताया गया था कि तत्कालीन मायावती सरकार का विरोध कर रहे समाजवादी पार्टी नेताओं को पीटा गया था. रिपोर्ट के मुताबिक, समाजवादी पार्टी ने सत्तारूढ़ बहुजन समाज पार्टी पर आरोप लगाया था कि उन्होंने गुंडागर्दी कर विधानसभा में प्रदर्शन कर रहे विधायकों को भगाया था.
यानी, 2011 में सपा नेताओं के प्रदर्शन के दौरान हुए लाठीचार्ज का वीडियो पिछले 5 सालों से इस झूठे दावे के साथ शेयर किया जा रहा है कि वो यूपी पुलिस द्वारा सपा नेता कमाल अख्तर की पिटाई का वीडियो है. ये वीडियो अप्रैल 2021 में कमाल अख्तर द्वारा दिए गए भाषण से जोड़कर शेयर किया जा रहा है.
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