सोशल मीडिया पर एक महिला को नग्न कर पीट रहे कुछ लोगों की एक तस्वीर शेयर की जा रही है. कहा जा रहा है कि बंगाल में मोदी के समर्थन में नारे लगाने पर कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने महिला को पीटा. ट्विटर यूज़र आजाद सिंह चौहान ने ये तस्वीर ट्वीट करते हुए लिखा, “ममता बनर्जी सरकार में कोई कानून नाम का चीज नहीं है है तो सिर्फ जेहाद”. 

एक और ट्विटर यूज़र ने भी ये तस्वीर ट्वीट की.

साल 2018 में भी ये तस्वीर सोशल मीडिया पर इसी दावे के साथ शेयर की गई थी. 31 अगस्त 2018 को फेसबुक यूज़र हिंदू अखिलेश गुप्ता ने ये तस्वीर इसी दावे के साथ ट्वीट की. इस यूज़र के बायो में बताया गया है कि वो भारतीय जनता पार्टी के लिए काम करते है. इस पोस्ट को आर्टिकल लिखे जाने तक 15 हज़ार बार शेयर किया गया. (आर्काइव लिंक)

ये तस्वीर कई और यूज़र्स ने भी इसी मेसेज के साथ शेयर की है जिसमें प्रीतम ऋतु भी शामिल है. ट्विटर पर इस यूज़र ने खुद को ‘भाजपाई’ बताया है. वहीं इस यूज़र को भाजपा नेता और केन्द्रीय मंत्री पियुष गोयल का कार्यालय भी फ़ॉलो करता है.

2007 की असम की तस्वीर

ऑल्ट न्यूज़ ने इस तस्वीर को गूगल पर रिवर्स इमेज सर्च किया और पाया कि 2016 में We Support Narendra Modi Ji नामक एक फ़ेसबुक ग्रुप में इसे शेयर किया गया था. वहीं 2017 में कुछ यूज़र्स ने इसे शेयर किया था.

लेकिन ऑल्ट न्यूज़ ने जांच के दौरान पाया कि ये तस्वीर पश्चिम बंगाल से जुड़ी हुई नहीं है बल्कि साल 2007 में असम में हुई एक घटना की है. असम में आदिवासी चाय श्रमिकों ने अनुसूचित जनजाति सूची में शामिल होने की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन किया था. इस पर नाराज़ होकर स्थानीय निवासियों ने एक आदिवासी महिला पर हमला किया था. कई मीडिया संगठनों ने इस घटना के बारे में रिपोर्ट पब्लिश की थी जिसमें द टाइम्स ऑफ इंडिया, न्यूज 18 और द टेलीग्राफ शामिल है. SM होक्सस्लेयर ने साल 2017 में ही इस दावे को खारिज करते हुए फ़ैक्ट-चेक रिपोर्ट पब्लिश की थी.

पश्चिम बंगाल को लेकर अक्सर ही सोशल मीडिया पर तरह तरह ही गलत सूचनाएं और दावे शेयर किये जाते हैं. इससे राज्य को हिंदू विरोधी राज्य के रूप में पेश किया जाता है. ऑल्ट न्यूज़ ने ऐसी कई गलत खबरों की सच्चाई सामने लाई है (लिंक 1, लिंक 2, लिंक 3, लिंक 4, लिंक 5).

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About the Author

Pooja Chaudhuri is a researcher and trainer at Bellingcat with a focus on human rights and conflict. She has a Master's in Data Journalism from Columbia University and previously worked at Alt News.