इन दिनों सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल है जिसमें सड़क पर भारी जनसैलाब नज़र आ रहा है और उन्हीं भीड़ के बीच से गाड़ियों का काफिला भी गुज़रता है. वायरल मैसेज में कहा जा रहा है कि मुंबई में मुसलमान अपनी ताकत दिखाने सड़क पर उतरे हैं.
कई मौकों पर झूठी और सांप्रदायिक ग़लत जानकारी फैलाने वाला वेरिफ़ाइड X-हैन्डल दीपक शर्मा ने वीडियो शेयर करते हुए लिखा, “ये पाकिस्तान या बांग्लादेश नहीं है ये इराक ईरान या अफगानिस्तान भी नहीं है अपना मुंबई है जहाँ मुसलमान अपनी ताकत दिखाने को सड़कों पे निकला है सोते रहो हिन्दुओं”. (आर्काइव लिंक)
ये पाकिस्तान या बांग्लादेश नहीं है
ये इराक ईरान या अफगानिस्तान भी नहीं है
अपना मुंबई है
जहाँ मुसलमान अपनी ताकत दिखाने को
सड़कों पे निकला हैसोते रहो हिन्दुओं 🖐️ pic.twitter.com/IiFZeLO98s
— Deepak Sharma (@SonOfBharat7) September 23, 2024
X-हैंडल तौफीक खान ने ये वीडियो शेयर करते हुए लिखा, “भारत के इतिहास में बड़ी रैलियों में से एक बताया जा रहा है 10000 से ज्यादा कार इसमे शमिल हुई. यूज़र ने AIMIM महाराष्ट्र के प्रेसीडेंट इम्तियाज़ जलील को टैग करते हुए #AIMIM #Chalo_Mumbai लगाया है. (आर्काइव लिंक)
ध्यान दें कि भाजपा नेता नितेश राणे और ‘संत’ रामगिरि महाराज ने कुछ दिन पहले इस्लाम और पैगंबर मोहम्मद पर कथित रूप से अपमानजनक टिप्पणियां की थी. उनके खिलाफ़ कार्रवाई की मांग को लेकर AIMIM नेता इम्तियाज़ जलील ने 23 सितंबर को मुंबई चलो रैली का आह्वान किया था.
भारत के इतिहास में बड़ी रैलियों में से एक बताया जा रहा है 10000 से ज्याद कार इसमे शमिल हुई @imtiaz_jaleel 🦁🔥#AIMIM #Chalo_Mumbai pic.twitter.com/PAMU2ntFic
— Taufique khan (@realTaufique) September 23, 2024
नितेश राणे ने 24 सितंबर को एक ट्वीट में वायरल वीडियो का स्क्रीनग्रैब ट्वीट कर इस रैली पर तंज कसा. उन्होंने तस्वीर शेयर करते हुए भीड़ की तुलना पोहे से की और लिखा, ”इतने पोहे तो हम नाश्ते में रोज खाते हैं.”
अमर उजाला ने यूट्यूब पर एक वीडियो अपलोड करते हुए लिखा, “Asaduddin Owaisi की ताकत का नमूना Mumbai की सड़कों पर दिखा”. इस रिपोर्ट में 7 सेकंड के बाद का हिस्सा वायरल वीडियो है. (आर्काइव लिंक)
फ़ैक्ट-चेक
हमने देखा कि कुछ यूज़र्स ने कमेन्ट में बताया है कि ये पोप फ्रांसिस का वीडियो है. ऑल्ट न्यूज़ ने वायरल वीडियो के एक फ़्रेम को रिवर्स इमेज सर्च किया. VPN की सहायता से हमें TikTok के rey.marques अकाउंट पर वायरल वीडियो 11 सितम्बर 2024 को पोस्ट मिला. वीडियो के कैप्शन मे #timor #katolikroma #katolikku keren #tasizdilitimorlestern. #pausfransiskus #timorlester लिखा है. यानी, ये वीडियो AIMIM की हालिया रैली का नहीं हो सकता. (आर्काइव लिंक)
इसके बाद की-वर्डस सर्च से हमें फ़ेसबुक पर TVET एंटरटेनमेंट ऑफिशियल के पेज पर 10 सितंबर को 3 बजकर 48 मिनट पर किया गया एक लाइव स्ट्रीम मिला. इसके कैप्शन का हिंदी अनुवाद है, ‘तासी तोलू – डिली, पवित्र मास में भाग लेने के बाद, ईसाई शांति और शांति से भरे हुए घर लौट आए.’ इस वीडियो रिपोर्ट में 44 मिनट के बाद ठीक वैसा ही गाड़ियों का काफिला दिखता है जैसा कि वायरल वीडियो में है. (आर्काइव लिंक)
ऑल्ट न्यूज़ ने जियो लोकेशन से वीडियो के लोकेट करने की कोशिश की. हमें स्ट्रीट व्यू इमेजरी मिला. हमने स्ट्रीट व्यू इमेजरी की तुलना वायरल वीडियो से की. इससे स्पष्ट हो गया कि वायरल वीडियो वाली जगह Timor-Leste के Dili शहर के Tasi-Tolu Rai-Kuak की पास की है.
नीचे ग्राफिक में बाईं तरफ वायरल वीडियो के स्क्रीनग्रैब और दायीं तरफ स्ट्रीट व्यू इमेज हैं.
की-वर्डस सर्च से हमें बीबीसी न्यूज़ की 10 सितम्बर, 2024 की एक रिपोर्ट मिली. इसमें लिखा है कि पोप फ्रांसिस के अब तक के सबसे बड़े समारोह में से एक के लिए लगभग 600,000 लोग तिमोर-लेस्ते की राजधानी डिली के बाहर एक मैदान में एकत्र हुए हैं.
खुले में आयोजित यह समागम, इस छोटे से दक्षिण-पूर्व एशियाई देश की लगभग आधी जनसंख्या का प्रतिनिधित्व करता है – जो पृथ्वी पर सबसे अधिक रोमन कैथोलिक स्थानों में से एक है तथा एकमात्र कैथोलिक बहुल राष्ट्र है. (आर्काइव लिंक)
कुल मिलाकर, तिमोर लेस्ते में हुए पोप फ्रांसिस के समारोह के दौरान जुटी भीड़ को मुंबई में AIMIM की रैली में मुसलमानों की भीड़ बताकर शेयर किया जा रहा है.
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