व्हाट्सऐप पर एक वीडियो काफी शेयर किया जा रहा है. वीडियो में कुछ महिलाएं एक पानी की टंकी के ऊपर कपड़े के टुकड़े को जलाते हुए दिख रही हैं. इस दौरान एक महिला ने खुद को आग लगा ली.
वीडियो में एक वॉयसओवर भी है जिसमें उर्दू में बातें कही जा रही है. वीडियो के साथ दावा किया जा रहा है कि ये महिलाएं RSS की सदस्य हैं और अपने एक कार्यक्रम में वे बुर्का जलाने की कोशिश कर रही थीं. लेकिन “ईश्वर के दैवीय हस्तक्षेप” की वज़ह से आग ने एक महिला को अपनी चपेट में ले लिया. ये भी दावा किया जा रहा है कि इस घटना को किसी भी मीडिया आउटलेट ने रिपोर्ट नहीं किया. और इसके बारे में जाग़रूकता लाने के लिए इसे सभी ग्रुप्स में शेयर करने के लिए कहा जा रहा है.
हाल ही में कर्नाटक के कॉलेजों में हिजाब पर प्रतिबंध लगाने के खिलाफ़ विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है. ये वीडियो भी उसी संदर्भ से शेयर किया जा रहा है. कई दक्षिणपंथी संगठनों से जुड़े हिंदू छात्रों ने भी भगवा शॉल पहनकर विरोध किया था.
ऑल्ट न्यूज़ के व्हाट्सऐप नंबर (+91 76000 11160) पर इस वीडियो की सच्चाई जानने के लिए कई रिक्वेस्ट आयी हैं.
ये दावा करीब 2014 से फ़ेसबुक पर वायरल है. फ़ेसबुक ने वीडियो की संवेदनशीलता देखते हुए इसका प्रीव्यू ब्लॉक कर दिया है. इन पोस्ट्स में वीडियो पर वॉयस-ओवर नहीं है.
नीचे, एक वायरल पोस्ट है. वीडियो की संवेदनशीलता को ध्यान में रखकर रीडर्स इसे देखने या न देखने का फैसला लें.
हिजाब को फना करने निकले थे खुद फना हो रहे है#Hijab #हिजाब_से_दर्द_क्यों pic.twitter.com/sz1X0B9Ldp
— #AllahuAkbar (@AzqaanSheikh) February 7, 2022
फ़ैक्ट चेक
ऑल्ट न्यूज़ ने वीडियो की असलियत जानने के लिए गूगल पर की-वर्ड्स सर्च किया. हमें फ़रवरी 2010 की द इंडियन एक्सप्रेस की न्यूज़ रिपोर्ट मिली. रिपोर्ट में शेयर की गई एक तस्वीर, वायरल वीडियो से मेल खाती है. रिपोर्ट के अनुसार, ये महिलाएं शिक्षिका थीं जो एलेमेंट्री टीचर्स ट्रेनिंग (ETT) में एडमिशन के बाद इसके तहत डिग्री की मांग को लेकर पंजाब सरकार के खिलाफ़ प्रदर्शन कर रही थीं. प्रदर्शन के दौरान उनमें से पांच महिलाएं 100 फ़ीट ऊंची पानी की टंकी पर मिट्टी के तेल के साथ चढ़ गई और मांग पूरी नहीं होने पर खुद को जलाने की धमकी दी.
घटना के समय मौजूद लोगों के अनुसार, महिलाओं का खुद को जलाने का कोई इरादा नहीं था. लेकिन पुलिस की कुछ “अभद्र” टिप्पणियों की वज़ह से किरणजीत (27) ने ऐसा करने का फैसला किया. किरणजीत फ़रीदकोट ज़िले की रहने वाली थी. जब तक आग पर काबू पाया गया तब तक वो 90 प्रतिशत जल गई थी.
NDTV की एक रिपोर्ट के अनुसार, जहां ये घटना हुई उस शहर से 80 किलोमीटर दूर लुधियाना के एक निजी अस्पताल में शिक्षिका का निधन हो गया था.
इस तरह, एक दशक से ज़्यादा पुराना वीडियो व्हाट्सऐप पर इस झूठे दावे के साथ शेयर किया गया कि बुर्का जलाने की कोशिश कर रही एक महिला ने ग़लती से खुद को आग लगा ली.
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