सोशल मीडिया पर एक वीडियो इस दावे के साथ शेयर किया जा रहा है कि चीन के प्रधानमंत्री मस्ज़िद के दौरे पर गए. क्योंकि उन्हें ये महसूस हुआ कि “अल्लाह के आगे सज्दा” करना ही कोरोना वायरस से बचने का एकमात्र रास्ता है. वायरल हो रहे संदेश में ये दावा भी है कि चीनी पीएम ने कहा कि उनकी सरकार इस्लाम की सबसे पवित्र किताब ‘क़ुरान’ का अनुवाद करवाएंगी.
इस वायरल संदेश में लिखा है, “चीन के प्रधानमंत्री ने कहा कि हम क़ुरान का अनुवाद करवाएंगे, क्योंकि उन्हें पता चल गया है कि “अल्लाह के आगे सज्दा” करके ही कोरोना वायरस से बचा जा सकता है. उन्होंने मस्ज़िद जाकर प्रार्थना भी की.”
China PM who told we’ll translate the Quran as our own realised that the only one way to protect from the korona virus is doing ‘sajtha’ to Allah and went to mosque to pray, Masha llah
Posted by Mohammed Farooquddin on Sunday, 2 February 2020
इस संबंध में एक हालिया रिपोर्ट का ज़िक्र ज़रूरी है. इसमें लिखा है कि चीन की सरकार ने क़ुरान के पुनर्लेखन की योजना बनाई है, ताकि ये समाजवादी मूल्यों को प्रदर्शित कर सकें.
03 फ़रवरी, 2020 को ख़ान शाहबाज़ अली ख़ान नाम के यूजर ने फ़ेसबुक पर 45 सेकेंड्स का एक वीडियो शेयर किया. इसको 370 से अधिक बार शेयर किया जा चुका है. ये वीडियो फ़ेसबुक और ट्विटर पर इसी कहानी के साथ वायरल हो रहा है.
China PM who told we’ll translate the Quran as our own, realised that the only one way to protect from the Corona virus is doing ‘sajtha’ to Allah and went to mosque to pray, Masha Allah…. pic.twitter.com/5zS3u2m8wO
— Maheen (@Maheen83086711) February 2, 2020
ऑल्ट न्यूज़ को अपने मोबाइल ऐप पर इस वीडियो की पुष्टि करने के लिए कई रिक्वेस्ट्स मिली थीं.
फ़ैक्ट–चेक
ऑल्ट न्यूज़ ने डिजिटल वेरिफ़िकेशन टूल InVid की मदद से इस वीडियो को कई की-फ़्रेम्स में अलग-अलग करके देखा. इनमें से एक फ़्रेम को यानडेक्स पर रिवर्स-सर्च करने पर पता चला कि ये वीडियो चीन का नहीं बल्कि मलेशिया का है. इसका हाल के कोरोनावायरस के संकट से कोई संबंध नहीं है.
ये वीडियो सबसे पहले ‘एसोसिएटेड प्रेस’ ने 21 जुलाई, 2015 को अपलोड किया था. उस वक़्त मलेशिया के पूर्व प्रधानमंत्री अब्दुल्ला अहमद बदावी बीजिंग की नान शिया पो मस्ज़िद गए थे. उन्होंने वहां पर ज़ुम्मे की नमाज़ में भी हिस्सा लिया था.
इसलिए, मलेशिया के पूर्व प्रधानमंत्री के चीन में मस्ज़िद जाने के चार साल पुराने वीडियो को झूठे तौर पर चीन में कोरोनावायरस संकट से संबंधित बताया जा रहा है. ये दावा फ़र्ज़ी है कि चीन के प्रधानमंत्री कोरोना वायरस प्रकोप के दौरान मस्ज़िद के दौरे पर गए. गौरतलब है कि ली किक़्यिांग वर्तमान में चीन के प्रधानमंत्री हैं. वो 2013 से इस पद पर हैं. वहीं, महातिर बिन मोहम्मद इस वक़्त मयलेशिया के प्रधानमंत्री हैं.
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