तमिलनाडु के तूतीकोरिन में पुलिस ने 19 जून 2020 को एक पिता-पुत्र को गिरफ़्तार किया था जिसके 4 दिन बाद न्यायिक हिरासत में इन दोनों की मौत हो गई थी. ‘NDTV इंडिया’ की रिपोर्ट के मुताबिक, ये बाप-बेटे एक मोबाईल की दुकान चलाते थे. एक दिन पुलिस उन्हें पकड़ कर ले गई. उनपर आरोप लगाया गया कि वो निर्धारित समय से ज़्यादा देर तक दुकान चलाते हैं. पुलिस ने हिरासत में लेने के बाद इन दोनों की काफ़ी पिटाई की. पिटाई के बाद इन्हें अस्पताल में भर्ती करवाया गया लेकिन गंभीर चोटों के कारण उनकी मौत गई. इस मामले में 4 पुलिसकर्मियों को सस्पेंड किया गया है. तमिलनाडु के मुख्यमंत्री ईके पलानीस्वामि ने इस मामले में खेद जताया है.
इस घटना के बाद सोशल मीडिया पर लोगों का गुस्सा फुट पड़ा. इस मामले में आरोपी पुलिसकर्मियों को सख़्त से सख़्त सज़ा देने की मांग होने लगी. इसी बीच ट्विटर हैन्डल ‘@DMK4TN’ ने 27 जून 2020 को तमिलनाडु के तूतीकोरिन की घटना का बताते हुए एक वीडियो शेयर किया. वीडियो में कुछ लोग एक व्यक्ति को छत से लटकाकर उसकी पिटाई कर रहे हैं और उसके प्राइवेट पार्ट में रॉड डाल रहे है. इस वीडियो की संवेदनशीलता को देखते हुए ऑल्ट न्यूज़ इसे अपने आर्टिकल में एम्बेड नहीं कर रहा है लेकिन ट्वीट के स्क्रीनशॉट को आप नीचे देख सकते है. आर्टिकल लिखे जाने तक इस वीडियो को 6,600 बार देखा और 200 से ज़्यादा बार रीट्वीट किया जा चुका है. (ट्वीट का आर्काइव लिंक)
फ़ेसबुक पर ये वीडियो इसी दावे से काफ़ी शेयर किया जा रहा है.
फ़ैक्ट-चेक
वायरल हो रहा ये वीडियो तमिलनाडु के तूतीकोरिन में हुई घटना का नहीं है. ऑल्ट न्यूज़ पहले भी अक्टूबर 2019 में इस वीडियो की जांच कर चुका है जब ये वीडियो राजनेता अनिल उपाध्याय के अत्याचार के दावे से शेयर हो रहा था. अनिल उपाधयाय नाम का कोई राजनेता है ही नहीं.
जांच में हमने पाया था कि ये वीडियो महाराष्ट्र में हुई एक घटना का है जिसमें एक ट्रांसपोर्ट सर्विस का मालिक और उसके साथी ट्रांसपोर्टर ने विक्की आगलावे नाम के एक ड्राइवर को बड़ी बेरहमी से पीटा था. 29 जुलाई 2019 की ‘नवभारत टाइम्स’ की रिपोर्ट में बताया गया है कि इस मामले में नागपुर, के आंध्र-कर्नाटक ट्रांसपॉर्ट के मालिक अखिल पोहानकर और ट्रांसपोर्टर अमित ठाकरे को गिरफ़्तार किया गया था. उनपर आरोप था कि उन्होंने अपने ड्राइवर विक्की आगलावे की पिटाई की है. विक्की अखिल पोहानकर के यहां काम करता था. 26 जुलाई 2019 को पोहानकर ने विक्की को 30 हज़ार कैश के साथ सामान की डिलीवरी करने के लिए तिरुवनंतपुरम भेजा था. पोहानकर ने आरोप लगाते हुए बताया कि रास्ते में विक्की ने इन पैसे से अपने लिए कपड़े और सामान खरीदा और शराब पी. जब तिरुवनंतपुरम में डिलीवरी समय पर नहीं हुई तो पोहानकर ने विक्की को कई बार फोन किया लेकिन विक्की ने कोई जवाब नहीं दिया. जब विक्की ट्रक वापस लेकर ऑफ़िस पहुंचा तो पोहानकर ने उसे अपने केबिन में बुलाया और उसके हाथ-पैर बांध दिए. इसके बाद उसे छत से लटकाकर पिटाई की. वीडियो में विक्की के साथ हुई मारपीट को देखा जा सकता है. यहां तक कि विक्की के प्राइवेट पार्ट में रॉड भी डाला गया. वीडियो के वायरल होने के बाद पुलिस ने इस मामले में केस दर्ज किया. 28 जुलाई 2019 को पुलिस ने आरोपियों को गिरफ़्तार किया.
इस घटना पर और भी कई मीडिया संगठनों ने रिपोर्ट प्रकाशित की थीं. इसमें ‘दैनिक भास्कर’, ‘टाइम्स ऑफ़ इंडिया’, ‘ANI’ प्रमुख हैं.
जुलाई 2019 में महाराष्ट्र के नागपुर में ट्रांसपोर्ट कंपनी के मालिक ने अपने ड्राइवर की बड़ी बेरहमी से पिटाई की थी जिसका वीडियो तमिलनाडु के तूतीकोरिन में हुई हालिया घटना का बताकर सोशल मीडिया में शेयर किया जा रहा है.
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