कार में सवार दो साधुओं का भीड़ द्वारा पकड़े जाने का वीडियो सोशल मीडिया पर इस दावे के साथ शेयर किया गया है कि ये बच्चों का अपहरण करते हैं. लोगों को ये कहते हुए सुना जा सकता है, “वे साधु की तरह दिखते हैं लेकिन वे बच्चा चोर हैं.” दावा किया गया है कि उन्हें दिल्ली में पकड़ा गया था.

ज्यादातर लोगों ने अर्जुन सिंह की 31 जुलाई को पोस्ट किया गया वीडियो शेयर किया है जिसे 22 लाख व्यूज मिले.

 

ye bacha chor hey kishi ko dikhe to turant camplent kare 😠😠😠

Posted by Arjun Singh on Friday, 30 July 2021

 

फ़ैक्ट-चेक

हिंदी में एक साधारण से कीवर्ड सर्च “बच्चा चोर साधुओं को पीटा” से हमें जुलाई की कई न्यूज़ रिपोर्ट्स मिलीं. आजतक के मुताबिक, मध्य प्रदेश के धार में भीड़ ने दो साधुओं को बच्चा चोर समझकर उनकी पिटाई कर दी. साधुओं ने बच्चों से रास्ता पूछा लेकिन बच्चे डर गए और भागने लगे. इसी दौरान लोगों की भीड़ जमा हो गई और लोगों ने साधुओं की पिटाई कर दी.

ज़ी न्यूज़ मध्य प्रदेश छत्तीसगढ़ ने बताया कि पुलिस ने तीन लोगों और कई अनजान व्यक्तियों पर मामला दर्ज किया था. धार में बच्चे के अपहरण की ऐसी अफ़वाहें आम होती जा रही हैं. रिपोर्ट में आगे कहा गया है कि दो साल पहले धार के मनावर में बच्चा चोर समझकर किसानों के साथ मारपीट हुई थी जिसमें एक किसान की मौत हो गई थी और पांच किसान गंभीर रूप से घायल हो गए थे.

न्यूज़18 की रिपोर्ट के मुताबिक, पीथमपुर सेक्टर 1 के धन्नाड गांव में साधुओं को पीटा गया जहां उन्होंने सड़क किनारे चल रहे बच्चों से इंदौर का रास्ता पूछने के लिए अपनी कार रोकी. वो रोते रहे और भीड़ को ये समझाते रहे कि वे सिर्फ रास्ता पूछ रहे थे लेकिन गुस्साई भीड़ ने नज़रअंदाज़ कर दिया. बाद में कुछ लोगों ने साधुओं को बचाया जिन्होंने पुलिस को भी सूचित किया. अफ़वाह फैलाने के लिए घटना का एक वीडियो सोशल मीडिया पर अपलोड किया गया था.

दैनिक भास्कर के अनुसार, बच्चे साधुओं से डर गए क्योंकि उन्होंने अपने शरीर पर बाल और राख लगा रखी थी. साधुओं में एक मध्य प्रदेश और दूसरा राजस्थान का था.

भारत में बच्चा-अपहरण की अफवाहों के कारण कई मौतें हुई हैं. ‘इंडिया स्पेंड’ द्वारा इकठ्ठा किए गए आंकड़ों में बताया गया है कि 2014 से 3 मार्च, 2018 के बीच 9 राज्यों में मॉब लिंचिंग के 40 मामलों में 45 लोगों की मौत हुई थी. ऑल्ट न्यूज़ ने अलग-अलग राज्यों में बच्चे के अपहरण की 30 से अधिक अफ़वाहों पर रिपोर्ट पब्लिश की है जिनमें से एक दिव्यांग मां की मौत भी शामिल है.


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About the Author

Pooja Chaudhuri is a researcher and trainer at Bellingcat with a focus on human rights and conflict. She has a Master's in Data Journalism from Columbia University and previously worked at Alt News.