नागरिकता संसोधन विधेयक का विरोध कर रहे अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (AMU) के छात्रों का एक वीडियो सोशल मीडिया पर इस दावे से वायरल हो रहा है कि छात्रों ने हिंदुओं के खिलाफ नारे लगाए। भाजपा युवा मोर्चा के उपाध्यक्ष संतोष रंजन राय ने वीडियो पोस्ट करते हुए लिखा है, “हिंदुओं की कब्र खुदेगी, AMU की छाती पर.यह भारत में सुनने को मिल रहा है भाई।”
हिंदुओं की कब्र खुदेगी, AMU की छाती पर.यह भारत में सुनने को मिल रहा है भाई #AAPBurningDelhi pic.twitter.com/QICDDM8yme
— Santosh Ranjan Rai (@SantoshRanjan_) December 15, 2019
तथ्य-जांच
ट्विट्टर पर कुछ की वर्ड्स सर्च से ऑल्ट न्यूज़ को वही वीडियो मिला, जिसमें बेहतर दिखाई और सुनाई दे रहा है। नीचे पोस्ट किये गए वीडियो को सुनने पर यह स्पष्ट हो जाता है कि यह दावा कि छात्रों ने हिन्दू विरोधी नारे लगाए, गलत है। वास्तव में छात्र हिंदुत्व, सावरकर, भाजपा, ब्राह्मणवाद और जातिवाद के खिलाफ नारे लगा रहे थे।
छात्रों को ये नारे लगाते हुए सुना जा सकता है, “हिंदुत्व की कब्र खुदेगी, AMU की छाती पर, सावरकर की कब्र खुदेगी, AMU की छाती पर, ये बीजेपी की कब्र खुदेगी, AMU की छाती पर, ब्राह्मणवाद की कब्र खुदेगी, AMU की छाती पर, ये जातीवाद की कब्र।” यहाँ ये ध्यान दिया जा सकता है कि यह वीडियो 12 दिसंबर, 2019 को अपलोड किया गया है।
Are you listening;
All the way from AMU.
Long Live AMU#AMUrejectscab#CABBill2019#CitizenshipAmendmentBill pic.twitter.com/WN77Kwvcz9— پیر زادہ محبوب الحق (@psmh019) December 12, 2019
इसके अलावा हमने वायरल वीडियो की तुलना उपरोक्त पोस्ट किए गए वीडियो से की और पाया कि इस वीडियो को ज़ूम-इन किया गया है। सोशल मीडिया से डाउनलोड और अपलोड करने के पैटर्न में इस वीडियो की ऑडियो गुणवत्ता काफी ख़राब हो गयी है।
जैसा कि दाईं ओर की तस्वीर में देखा जा सकता है पृष्ठभूमि में पूरा गेट दिखाई दे रहा है, जबकि बायीं तरफ वायरल वीडियो के स्क्रीनशॉट में ऐसा नहीं है।
गलत जानकारी को दक्षिण-पंथी यूज़र्स बढ़ावा दे रहे
उत्तर-प्रदेश भाजपा के प्रवक्ता शलभ मणि त्रिपाठी ने वीडियो पोस्ट करते हुए गलत दावा तो किया ही कि ये छात्र हिन्दू विरोधी नारे लगा रहे हैं, साथ ही उन्होंने लिखा, “ऐसी आवाज़ और अंदाज वालों का इलाज ज़रूरी है।” इस ट्वीट को 1700 से ज़्यादा बार रिट्वीट किया जा चूका है। भाजपा सदस्य ऋचा पांडे मिश्रा ने भी वीडियो को समान दावे से ट्वीट किया है।
आवाज सुनिए, अंदाज देखिए, कह रहे हैं – हिंदुओं की कब्र खुदेगी, AMU की छाती पर… ऐसी आवाज़ और अंदाज वालों का इलाज ज़रूरी है #AAPBurningDelhi pic.twitter.com/PLhGsJQ7dM
— Shalabh Mani Tripathi (@shalabhmani) December 15, 2019
शिव सेना के पूर्व सदस्य रमेश सोलंकी ने भी ये वीडियो गलत दावे से शेयर किया है, “हिंदुओं की कब्र खुदेगी, AMU की छाती पर..Yeh aasteen ke 🐍hamare hi tax pe palte hai aur hamari hi कब्र khodege” इस रिपोर्ट के लिखे जाने तक ट्वीट को 2500 से ज़्यादा बार रिट्वीट किया जा चूका है।
हिंदुओं की कब्र खुदेगी, AMU की छाती पर..
Yeh aasteen ke 🐍hamare hi tax pe palte hai aur hamari hi कब्र khodege 😡
#AapBurningDelhi pic.twitter.com/vYIVS9LfiN
— Ramesh Solanki (@Rajput_Ramesh) December 15, 2019
दिल्ली भाजपा प्रवक्ता तेजिंदर पाल सिंह बग्गा ने भी इस वीडियो को सोशल मीडिया पर वायरल एक अन्य वीडियो के साथ पोस्ट किया है। उन्होंने दावा किया कि “यह CAB के खिलाफ प्रदर्शन नहीं बल्कि स्पष्ट रुप से गज़वा-ए-हिंद का आह्वान है।” -(अनुवाद)
This is Not a protest for #CAB this is call for Ghazwa-E-Hind . Bahut se chehre Naqabo se bahar aa rhe hai dhire dhire pic.twitter.com/MZztJbNwiT
— Tajinder Pal Singh Bagga (@TajinderBagga) December 15, 2019
भाजपा के सोशल मीडिया हेड अमित मालवीय ने भी बग्गा की तरह समान क्लिप (बायीं तरफ) इस संदेश के साथ साझा किया है, “AMU छात्र हिंदुओ की कब्र खुदेगी, AMU की धरती पर के नारे लगा रहे हैं।”
AMU students are chanting ‘हिंदुओ की कब्र खुदेगी, AMU की धरती पर…’
Chaps at Jamia want ‘हिंदुओं से आज़ादी…’
If this is the mindset that pervades in these ‘minority’ institutions, imagine the plight of Hindus and other minorities in Pakistan, Bangladesh and Afghanistan… pic.twitter.com/VRNeOyhaHY
— Amit Malviya (@amitmalviya) December 15, 2019
फेसबुक और ट्विटर पर कई उपयोगकर्ताओं ने एक समान झूठे दावे से यह वीडियो पोस्ट किया है।
यह स्पष्ट है कि वीडियो में छात्र हिंदुत्व के खिलाफ नारे लगा रहे थे, हिंदुओं के खिलाफ नहीं। सोशल मीडिया उपयोगकर्ताओं में भाजपा के कई पदाधिकारी भी शामिल हैं, जिन्होंने यह गलत दावा किया ये नारे हिन्दू विरोधी थे।
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