कलकत्ता यूनिवर्सिटी के पूर्व कुलपति आशुतोष मुखर्जी के परपोते चयन मुखर्जी ने एक तस्वीर ट्वीट की जिसमें गोवा प्रदेश कांग्रेस कमिटी की प्रेस कांफ्रे़ंस में एक महिला बैठी हुई दिखती हैं. उन्होंने इसके साथ दावा किया कि ये महिला ‘फे़क नक्सल भाभी’ है जिसने कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी को हाथरस में गले लगया था. चयन मुखर्जी के इस ट्वीट को 3,000 से ज़्यादा बार रीट्वीट किया गया और 7,000 से ज़्यादा लोगों ने लाइक किया.

प्रियंका गांधी 3 अक्टूबर को पीड़िता के परिवार से मिलने यूपी के हाथरस गयीं थीं. पीड़िता के साथ कथित तौर पर रेप और बर्बरता हुई थी. चयन ने आरोप लगाया कि प्रियंका ने जिस महिला को पीड़िता के घर पर गले लगाया वो असल में कांग्रेस की सदस्य है और उसे परिवार की सदस्य के रूप में दिखाया गया. रेणुका जैन और अरुण पुदुर ने भी यही दावा किया.

ट्विटर यूज़र @AshishJaggi_1 ने पैनल में बैठी महिला को डॉक्टर राजकुमारी बंसल बताते हुए उन्हें ‘फे़क नक्सल भाभी’ (#FakeNaxalBhabhi) कहा. इसका सन्दर्भ आगे बताया गया है.

अक्सर भ्रामक सूचनाएं फ़ैलाने वाले पेज स्क्विंट नियॉन और सुरेश कोचात्तिल ने भी फे़सबुक पर वायरल तस्वीर के साथ यही दावा किया.

फे़सबुक पेज द राईट वॉइस ने इस वायरल तस्वीर के साथ ही प्रियंका गांधी की एक तस्वीर भी शेयर की जिसमें वो साड़ी पहनी एक महिला के गले लगे हुई हैं.

फै़क्ट-चेक

इससे पहले भी ऑल्ट न्यूज़ ने अपने फै़क्ट चेक में ऐसे ही एक गलत दावे की सच्चाई उजागर की थी. हालांकि उसमें कांग्रेस पैनलिस्ट की तस्वीर वायरल नहीं थी. प्रियंका गांधी की हाथरस पीड़िता की मां को गले लगाने वाली तस्वीर का ग़लत इस्तेमाल करते हुए महिला को, ‘फे़क नक्सल भाभी’ बताया गया.

ऑल्ट न्यूज़ ने गोवा कांग्रेस के फे़सबुक पेज को खंगाला और हमें 30 सितम्बर 2020 को हुई प्रेस कांफ्रे़ंस का एक वीडियो मिला जिसमें वही महिला काली साड़ी में बैठी हैं जो कि गोवा प्रदेश कांग्रेस कमिटी की सोशल मीडिया हेड प्रतिभा बोरकर हैं. ये प्रेस कांफ्रे़ंस हाथरस मामले पर की गयी थी.

 

Press Conference by Senior Congress leader Shambhu Bhau Bandekar, Vithu Morajkar (Spokesperson) and Pratibha Borkar at Congress House, Panjim.

Posted by Indian National Congress – Goa on Wednesday, September 30, 2020

वायरल हो रही तस्वीर में, प्रतिभा बोरकर और बाकी पैनलिस्ट ने मास्क नहीं पहना है. इससे मालूम होता है कि ये प्रेस कांफ्रे़ंस मार्च 2020 से पहले की ही है. हमने ढूंढा तो पाया कि जिस प्रेस कांफ्रे़ंस की तस्वीर वायरल हो रही है, वो 29 सितम्बर 2019 को हुई थी.

इस प्रेस कांफ्रे़ंस की ये वायरल हो रही तस्वीर ही प्रतिभा बोरकर की फे़सबुक कवर फ़ोटो भी है.


अब ये ‘फ़ेक नक्सल भाभी’ कहां से आया? ये वाक्यांश डॉक्टर राजकुमारी बंसल के लिए इस्तेमाल किया गया था जिनपर हाथरस पुलिस ने खुद को पीड़िता की रिश्तेदार बताने का आरोप लगाया था. साथ ही, पुलिस ने आरोप लगाया कि इस महिला ने पीड़िता के परिवार को बताया है कि उन्हें पुलिस को क्या बयान देना चाहिए. न्यूज़18 की एक रिपोर्ट में दावा किया गया है कि उन्होंने खुद को पीड़िता की भाभी बताया. डॉक्टर बंसल जबलपुर मेडिकल कॉलेज के फ़ॉरेंसिक विभाग में असिस्टेंट प्रोफे़सर हैं. उन्होंने कहा कि वो मानवता के नाते परिवार से मिलीं और मृतका के इलाज से जुड़े दस्तावेजों का अध्ययन करके उसके बारे में जानना चाहती थीं. कुछ मीडिया आउटलेट्स ने उनपर नक्सली होने का आरोप लगाया जिसे उन्होंने ख़ारिज किया है. पीड़िता के परिवार ने कहा कि डॉक्टर बंसल उनकी दूर की रिश्तेदार हैं.

नीचे लगी तस्वीर आप देख सकते हैं कि प्रतिभा बोरकर और डॉक्टर राजकुमारी बंसल दो बेहद अलग-अलग महिलाएं हैं.

यानी, पहले जबलपुर की डॉक्टर राजकुमारी बंसल को कांग्रेस सदस्य प्रतिभा बोरकर बताया गया और फिर उन्हें हाथरस पीड़िता के परिवार की सदस्य बताया गया जिन्हें प्रियंका गांधी ने गले लगाया था. गले लगने वाली पीड़िता की मां ही थी, इसपर काफ़ी रिपोर्ट्स पहले ही मौजूद हैं.

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Pooja Chaudhuri is a senior editor at Alt News.