“गुजरात के वड़ोदरा में मुहर्रम ताजिया के लिए चंदा देने से इनकार करने पर हिन्दू व्यक्ति का मुसलमान ने कत्ल कर दिया। आखिर मीडिया इस खबर को क्यों दबा रही हैं ? क्या गुजरात भी केरल की तरह जिहादियों का गढ़ बन रहा है ?”
उपरोक्त संदेश सोशल मीडिया में एक कथित गुजराती समाचार पत्र की क्लिप के साथ साझा किया जा रहा है। क्लिप में बताया गया है कि आरोपी नज़ीर पठान फिलहाल फरार है और वडोदरा सांप्रदायिक तनाव की चपेट में है, जिसका कारण मनोहर वरीया की हत्या है। मनोहर वरीया ने पठान को मुहर्रम ताज़िया के लिए चंदा देने से इनकार किया था, जिसके बाद उन्होंने वरिया पर चाकू से हमला कर दिया। इस अखबार क्लिप के अनुसार, पीड़ित पर चाकू से हमला किया गया क्योंकि उसने मुहर्रम ताज़िया के लिए चंदा देने से इनकार कर दिया था।
गुजरात के वड़ोदरा में मुहर्रम ताजिया के लिए चंदा देने से इनकार करने पर हिन्दू व्यक्ति का मुसलमान ने कत्ल कर दिया ।
आखिर मीडिया इस खबर को क्यों दबा रही हैं ?क्या गुजरात भी केरल की तरह जिहादियों का गढ़ बन रहा है ? pic.twitter.com/A3Oek6Lakg
— Pushpendra Kulshrestha (@Nationalist_Om) September 11, 2019
उपरोक्त ट्वीट @Nationalist_Om हैंडल का है जिसे 2700 बार रिट्वीट किया जा चूका है। यह दावा फेसबुक पर भी वायरल है, जिसे कुछ हिंदूवादी पेज और व्यक्तिगत उपयोगकर्ता ने साझा किया है।
तथ्य जांच: 2017 की खबर
ऑल्ट न्यूज़ ने प्रसारित अख़बार की कतरन के शीर्षक को गूगल पर सर्च किया, हालांकि इससे हमें कोई भी परिणाम प्राप्त नहीं हुआ। प्रसारित संदेश और वायरल तस्वीर में मौजूद जानकारियों के माध्यम से ऑल्ट न्यूज़ ने संबधित कीवर्ड्स से सर्च किया और हमें 13 सितंबर, 2017 को प्रकाशित द इंडियन एक्सप्रेस का एक लेख मिला।
रिपोर्ट के मुताबिक, प्रारंभिक जाँच में सामने आया था कि आरोपी पीड़ित को उसके उपनाम से चिढ़ा रहा था, जिससे उसने उसे थप्पड़ मार दिया और फिर आरोपी ने पीड़ित पर चाकुओं से वार कर दिया। लेख में पीड़ित के बेटे के बयान को भी शामिल किया गया है, जिसने बताया कि,“मेरे पिता ने ताज़िया उत्त्सव के लिए 100 रुपये का योगदान दिया था, लेकिन जब पठान मंगलवार शाम को घर से बाहर आया, तो मेरे पिता ने उससे पूछा कि उसने शराब पर पैसे क्यों बर्बाद किए, लेकिन पठान गुस्से में आ गया और लड़ाई शुरू हो गई जिसके बाद उसने मेरे पिता को चाकू मार दिया”-अनुवादित।
इस घटना पर 15 सितंबर, 2017 को प्रकाशित टाइम्स ऑफ़ इंडिया के लेख का शीर्षक था –“57 मुस्लिम परिवार हिन्दू व्यक्ति की हत्या के बाद वडोदरा से भागे”-अनुवाद, TOI के लेख में हत्या के बाद वडोदरा में सांप्रदायिक तनाव के बारे में बताया गया है। घटना के बारे में लेख में लिखा गया है,“पुलिस के मुताबिक, पठान ने वरीया से संपर्क किया और ताज़िया उत्सव के लिए चंदे की मांग की जब वरिया ने पैसे देने से इनकार कर दिया तो पठान ने विवाद शुरू कर दिया और उसे चाकू मार दिया। हत्या के एक दिन बाद पुलिस ने पठान को गिरफ्तार कर लिया था”-अनुवाद।
ऑल्ट न्यूज़ वायरल अखबार के क्लिप की सच्चाई नहीं जान पाया है लेकिन यह घटना दो साल पुरानी यानि कि 2017 की है। इस साल मुहर्रम 10 सितंबर को मनाया गया था और इस घटना को हालिया बताकर गलत दावे के साथ साझा किया गया है।
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