ट्रिगर वार्निंग: डेड बॉडी, बच्चे की मौत

[एडिटर नोट: ये दुर्भाग्यपूर्ण है कि हमें ऐसे दावे का फ़ैक्ट चेक करना पड़ रहा है जिसमें एक मरे हुए बच्चे को गुड़िया (Doll) बताया गया है. इस स्टोरी में असली ट्वीट्स की जगह स्क्रीनशॉट का इस्तेमाल किया गया है. और जहां भी फ़ैक्ट-चेक के लिए ज़रूरी है वहां धुंधली तस्वीर और वीडियो का इस्तेमाल किया गया है.]

इज़राइल-हमास युद्ध के सबंध में इज़राइली सरकार ने 14 अक्टूबर को ये आरोप लगाया कि हमास एक गुड़िया को मरे हुए फ़िलिस्तीनी बच्चे के रूप में पेश करके जनता को धोखा देने की कोशिश कर रहा था. X (जिसे पहले ट्विटर के नाम से जाना जाता था) पर, इज़राइल राज्य के ऑफ़िशियल हैंडल ने इस कथित ‘गुड़िया’ की एक तस्वीर और एक वीडियो शेयर किया. वीडियो को दो क्लिप के साथ कम्पाइल करके बैकग्राउंड म्यूज़िक के साथ सेट किया गया है. पहली क्लिप में एक बच्चे को अस्पताल ले जाते हुए दिखाया गया है और दूसरी क्लिप में सफेद कपड़े में लिपटा हुआ एक बेजान बच्चा दिखाई दे रहा है. तस्वीर में बच्चे के चेहरे पर घेरा बनाया गया है. कैप्शन का हिंदी अनुवाद है, “हमास ने गलती से एक गुड़िया (हां एक गुड़िया) का वीडियो पोस्ट कर ये दिखाने की कोशिश की कि ये IDF हमले से हुई मौत है.” (आर्काइव)

इस दावे के मुताबिक, एक गुड़िया को एक मारे गए बच्चे के रूप में दिखाया जा रहा था. इस दावे ने तुरंत काफी लोगों का ध्यान आकर्षित किया. कई ऑफ़िशियली इज़राइली सोशल मीडिया अकाउंट जैसे कि फ्रांस में इज़राइल का दूतावास और ऑस्ट्रिया में इज़राइल का दूतावास ने भी वायरल वीडियो में दिखाए गए बच्चे को गुड़िया बताया.

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इज़रायली एक्टिविस्ट यूसुफ़ हद्दाद इस दावे को ट्वीट करने वाले पहले व्यक्ति थे. हद्दाद ने दावा किया कि फ़ैक्ट ये है कि हमास ने कथित तौर पर जनता को धोखा देने के लिए एक गुड़िया का वीडियो ट्वीट किया था. उन्होंने लिखा, “हमास और फ़िलिस्तीनियों की झूठ बोलने वाली और प्रॉपगेंडा फैलाने वाली ब्रांच कितनी कड़ी मेहनत करती है.” उनके ट्वीट को 3.7M व्यूज़ और करीब 27 हज़ार लाइक्स मिले. (आर्काइव)

अनसेंसर्ड न्यूज़ नेटवर्क ‘वॉयस ऑफ़ यूरोप’ के ऑफ़िशियली हैंडल ने वायरल क्लिप इसी दावे के साथ ट्वीट की. (आर्काइव)

वायरल दावे को इज़रायली पत्रकार एडी कोहेन, पत्रकार पत्रकार ब्रायन क्रैसेनस्टीन और स्व-घोषित फ़ैक्ट चेक संगठन इज़राइल वॉर रूम ने भी शेयर किया था जिन्होंने व्यंग्यात्मक रूप से वायरल वीडियो को “पैलीवुड” का ‘शानदार ब्लॉकबस्टर’ कहा.

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भारतीय X यूज़र्स ने भी इस दावे को आगे बढ़ाने का काम किया. इनमें स्वराज्य पत्रकार स्वाति गोयल शर्मा, पत्रकार अभिजीत मजूमदार, RSS मुखपत्र ऑर्गेनाइज़र वीकली, राईट विंग इंफ्लुएंसर @MrSinha_, वेरिफ़ाईड यूज़र- @VarunKrRana और @zahacktanvir शामिल हैं.

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फ़ैक्ट चेक

ऑल्ट न्यूज़ को गेटी इमेजीज़ पर एक तस्वीर मिली जिसमें वायरल वीडियो में दिख रहे व्यक्ति ने सफेद कपड़े में ढकी हुई एक लाश पकड़ी है. इस तस्वीर का क्रेडिट AFP के फ़ोटो जर्नलिस्ट मोहम्मद अबेद को दिया गया है. तस्वीर के कैप्शन में लिखा है, “अंतिम संस्कार के दौरान कफ़न में लिपटे एक बच्चे को गोद में लिए एक फ़िलिस्तीनी व्यक्ति, 12 अक्टूबर, 2023 को गाज़ा शहर में इज़राइल और हमास संघर्ष के बीच लगातार छठे दिन भी भीषण लड़ाई जारी है…” आगे, गेटी इमेजीज़ की तस्वीर और वायरल वीडियो के स्क्रीनग्रैब को कम्पेर किया गया है.

गेटी इमेजीज़ के लिए मोहम्मद अबेद द्वारा खींची गई एक और तस्वीर में भी उस व्यक्ति को उसी जगह पर बच्चे को पकड़े हुए देखा जा सकता है. कैप्शन के मुताबिक, 12 अक्टूबर, 2023 को गाज़ा शहर में अल-शिफा अस्पताल के मुर्दाघर के बाहर इज़रायली हवाई हमले के पीड़ित व्यक्तियों के शवों के पास लोग जमा हुए हैं.

हमने देखा कि वायरल वीडियो में अरबी वॉटरमार्क है जिसका अनुवाद मोमेन अल हलाबी है.

मोमन अल हलाबी एक फ़िलिस्तीनी फ़ोटोग्राफ़र हैं जो फ़िलिस्तीनियों पर इज़रायली अत्याचारों को कवर करते हैं और साथ ही डॉक्यूमेंटेशन भी करते रहे हैं. हमने उनका इंस्टाग्राम अकाउंट खंगाला जहां जहां ये वीडियो 3 दिन पहले शेयर किया था.

हमने मोमेन से कॉन्टेक्ट किया जिन्होंने फ़ोटो में असली बच्चा नहीं बल्कि एक गुड़िया होने के वायरल दावे को ग़लत बताया. उन्होंने ऑल्ट न्यूज़ को बताया कि वीडियो में दिख रहा लड़का 4 साल का उमर बिलाल अल-बन्ना था जिसे गाज़ा सिटी के ईस्ट में अल-ज़ायतौन इलाके में मार दिया गया था. उन्होंने आगे के संदर्भ के लिए उमर की कई अन्य तस्वीरें भी हमारे साथ शेयर कीं.

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12 अक्टूबर को गाज़ा में अल ज़ायटौन पर इज़रायली हवाई हमले हुए थे. उमर की मौत की तारीख भी 12 अक्टूबर ही है. (जैसा कि गेटी इमेज पर बताया गया है) जिस जगह पर वो मारा गया, वो अल ज़ायतून, अल नफ़ाक, सबरा और ताल अल हवा के साथ इज़रायली हवाई हमलों से प्रभावित स्थानों में से एक था. इस हमले में 51 लोग मारे गए और 281 घायल हो गए.

मोमेन ने हमें बताया कि उमर के शव के साथ ग्रे टी-शर्ट और लाल टी-शर्ट में दिख रहे लोग उसके रिश्तेदार थे. मोमेन ने कहा, “पिछले सालों में बच्चे के पिता की मौत हो गई.” उन्होंने हमें रिश्तेदार द्वारा उमर को ले जाए जाने के वायरल फ़ुटेज का रॉ और फ़ुल वर्ज़न भी भेजा जो बिना बैककग्राउंड म्यूज़िक का है.

आगे, हमने बच्चे के चेहरे पर अलग-अलग निशान दिखाए हैं. इससे ये साबित होता है कि मोमन ने हमें जो तस्वीरें भेजी हैं, उनमें दिख रहा बच्चा वही है जो वायरल वीडियो में दिख रहा है. दो निशान उसके माथे पर और एक उसकी ठुड्डी पर है. हमने बच्चे के बाकी चेहरे को धुंधला कर दिया है.

कई रिपोर्ट्स में अल-शिफा अस्पताल परिसर में ग्रे टी-शर्ट पहने आदमी को दिखाया गया है.

इसके अलावा, हमें टाइम्स ऑफ़ गाजा का 12 अक्टूबर का एक ट्वीट मिला. इसमें ग्रे टी-शर्ट पहना वही व्यक्ति दिख रहा है जो उमर के साथ दिखा था. इस तस्वीर में वो सफेद कपड़े में लिपटा हुआ शव ले जा रहा था.

हम उस जगह का पता लगा सके जहां ये तस्वीर क्लिक की गई थी. हमें उसी जगह पर 8 अक्टूबर को शूट किया गया एक एसोसिएटेड प्रेस वीडियो मिला. वीडियो में एक दीवार पर “अल-शिफा मेडिकल कॉम्प्लेक्स” नाम लिखा हुआ दिख रहा है.

इसका मतलब ये है कि वो व्यक्ति असल में अल-शिफ़ा अस्पताल में था जैसा कि गेटी इमेजेज कैप्शन में भी बताया गया था. फ़ोटोग्राफ़र मोमेन एल हलाबी ने भी ऑल्ट न्यूज़ यही बताया. वो मौके पर मौजूद थे और उन्होंने ही वायरल वीडियो रिकॉर्ड किया था.

कुल मिलाकर, इज़राइल के ऑफ़िशियल X हैंडल और कई और यूज़र्स द्वारा किया गया ये दावा ग़लत है कि वायरल तस्वीर में एक गुड़िया को मृत बच्चे के रूप में दिखाया गया.

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