“गंगा घाट कोतवाली क्षेत्र के अंतर्गत कोतवाली के सामने आइसक्रीम बेचने वाले दलित राकेश को जय श्रीराम न कहने पर मुस्लिम समझकर भगवा आतंकियो ने पीटा”।
उपरोक्त संदेश को सोशल मीडिया में एक घायल शख्स की तस्वीर के साथ साझा किया गया है। एक उपयोगकर्ता शाहनवाज़ अंसारी ने इसे ट्विटर पर पोस्ट किया है।
गंगा घाट कोतवाली क्षेत्र के अंतर्गत कोतवाली के सामने आइसक्रीम बेचने वाले दलित राकेश को जय श्रीराम न कहने पर मुस्लिम समझकर भगवा आतंकियो ने पीटा
2 रोज पहले मोहनलाल को मुसलमान समझकर लिंच करने वाले थे ये आतंकी लेकिन जब उससे जय श्रीराम का नारा लगवाया तो उसने रामायण की चौपाई सुना दी थी pic.twitter.com/AttL87nMqF— Shahnawaz Ansari (@shanu_sab) July 3, 2019
कुछ उपयोगकर्ताओं ने इस तस्वीर को इसी दावे के साथ ट्विटर और फेसबुक पर साझा किया है।
व्हाट्सअप पर कुछ उपयोगकर्ताओं ने इस तस्वीर की पुष्टि करने के लिए ऑल्ट न्यूज़ से अनुरोध किया है।
तथ्य जांच
ऑल्ट न्यूज़ को किंग आइसक्रीम के मालिक जीतेन्द्र यादव का मोबाइल नंबर मिला, जो तस्वीर में पीछे दिखाई दे रही तख्ती में लिखा हुआ था। यादव ने हमें बताया कि ट्रक का प्रबंधन करने वाले आइसक्रीम विक्रेता और जिसकी पिटाई की गई, वह राकेश नहीं, बल्कि उत्तर प्रदेश के उन्नाव जिले के शुक्लागंज का रहने वाला हरिशंकर वर्मा है।
ऑल्ट न्यूज़ से बातचीत के दौरान यादव ने कहा,“यह एक व्यक्तिगत मसला था, जिसे बाद में हल कर लिया गया था। इस घटना के 3-4 दिन बाद किसी ने इस घटना को सांप्रदायिक रंग दिया। उनलोगों ने व्यक्ति का नाम राकेश दलित बताया मगर उसका नाम हरिशंकर है। सोशल मीडिया में जो कहा गया है वह गलत है”।
यादव ने हमें हरिशंकर वर्मा के बेटे अवधेश का नंबर दिया। उन्होंने भी अपने पिता की तस्वीर के साथ वायरल दावे को ख़ारिज कर दिया। अवधेश ने कहा,“हमने शुरुआत में इस तस्वीर को व्हाट्सअप पर शेयर किया था, ताकि यह घटना अख़बार में प्रकाशित हो, लेकिन बाद में किसी ने इस तस्वीर को फेसबुक पर गलत दावे के साथ पोस्ट कर दिया। मेरे पिता आइसक्रीम की दुकान को लेकर घर लौट रहे थे। वह एक दुकान के पास किसी से बात करने के लिए खड़े थे तभी वहां पर दीपक नाम का कोई व्यक्ति आया और उनके बीच बोलने लगा और अचानक से उसने लड़ाई शुरू कर दी। उसके एक घंटे बाद मैंने अपने पिता को घायल अवस्था में पाया। बाद में ,उन्हें जल्द ही अस्पताल में भर्ती करवाया गया। अभी कुछ लोग इस घटना को झूठे दावे से साझा कर रहे है”।
जब उनसे पूछा गया कि क्या उन्होंने FIR दर्ज करवाई, तो उन्होंने जवाब दिया कि, “हमारे FIR दर्ज करवाने से पहले ही, उस आदमी [दीपक] ने हमसे संपर्क किया और कहा कि वो दवाइयों का खर्च उठाने के लिए तैयार हैं और अपनी गलती पर भी शर्मिंदा भी है। मेरे पिता इस बात को आगे बढ़ाना नहीं चाहते है”।
ऑल्ट न्यूज़ ने गंगाघाट पुलिस से भी संपर्क किया, सब इंस्पेक्टर श्याम कुमार ने बताया, “हमें इस घटना से संबधित कोई शिकायत नहीं मिली है”।
निष्कर्ष के तौर पर, उत्तर प्रदेश के उन्नाव जिले में आपसी झगड़े के बाद ली गई एक घायल व्यक्ति की तस्वीर को सोशल मीडिया में एक सांप्रदायिक दावे के साथ शेयर किया गया था कि, ‘जय श्री राम’ का नारा लगाने से मना करने पर एक आइसक्रीम बेचनेवाले व्यक्ति को “भगवा आतंकवादियों” ने मारा।
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