25 नवम्बर, 2018 को अयोध्या में विश्व हिंदू परिषद की ‘धर्म सभा’ आयोजित हुई थी, जिसमें बड़ी तादाद में भीड़ इकठा हुई थी। उसी दिन से सोशल मीडिया पर कुछ तस्वीरें और वीडियो वायरल हो रही है। I Support BJP for Bengal फेसबुक पेज ने 15 सेकंड का एक वीडियो यह कहते हुए पोस्ट किया, “অযোধ্যা রাম মন্দির জমায়েত বিশ্বহিন্দু পরিষদ” “अनुवाद- अयोध्या राम मंदिर के लिए विश्व हिन्दू परिषद् का जनसैलाब।”

इस वीडियो को अब तक 7500 से ज्यादा बार देखा जा चूका है।

অযোধ্যা রাম মন্দির জমায়েত বিশ্বহিন্দু পরিষদ

Posted by I Support BJP for Bengal on Sunday, 25 November 2018

तो क्या वीडियो में दिख रही भीड़ अयोध्या की है?

ऑल्ट न्यूज़ ने जब इस वीडियो को InVID की मदद से कई फ्रेमों में बांटकर इसके एक फ्रेम का गूगल रिवर्स इमेज सर्च किया तो हमें मुंबई मिरर के 9 अगस्त, 2017 के एक ट्वीट में इस वीडियो का पूरा संस्करण (33 सेकंड का) मिला। वीडियो को ट्वीट करते हुए यह लिखा गया है, “मराठा क्रांति मोर्चा के सदस्य जेजे फ्लाईओवर से गुजरते समय नारा लगाते हुए।” (अनुवाद) इस वीडियो का क्रेडिट राजू शिंदे को दिया गया है, जो मुंबई मिरर के फोटो संपादक हैं।

25 नवंबर, रविवार को ही विकास कट्टर नाम के फेसबुक यूजर ने एक अन्य वीडियो पोस्ट करते हुए यह लिखा, “श्री #अयोध्या #धाम #टीम विश्व हिंदू दल बजरंग दल विश्व हिन्दू परिषद #साझा #शक्ति #प्रदर्शन जय भवानी” इस वीडियो को 7000 से ज्यादा बार देखा गया है। इस वीडियो में भीड़ को एक मस्जिद के आगे भगवा झंडा लहराते देखा जा सकता है।

श्री #अयोध्या #धाम
#टीम विश्व हिंदू दल
बजरंग दल
विश्व हिन्दू परिषद
#साझा #शक्ति #प्रदर्शन
जय भवानी

Posted by विकास कट्टर on Sunday, 25 November 2018

इस वीडियो को भी हमने InVID टूल की सहायता ढूंढने की कोशिश की। सर्च रिजल्ट में ऐसे कई YouTube लिंक आए जिसमें इसी वीडियो को मार्च, 2018 में अपलोड किया गया है, जिससे एक बात तो साफ़ जो जाती है कि यह हाल का वीडियो नहीं है। यूट्यूब पर इसी तरह के वीडियो को ‘Ram Navami Full Crowd In Karnataka Gulbarga 2k18‘ कैप्शन से अपलोड किया गया है। वायरल हो रहे वीडियो में भीड़ के बीच काले रंग का एक बस देखा जा सकता है। इसी तरह के एक YouTube वीडियो को नीचे पोस्ट किया गया है जिसमें दिख रहे काले रंग के बस पर ‘कर्नाटक स्टेट रिज़र्व पुलिस’ लिखा हुआ है। इससे यह साफ़ होता है कि वीडियो अयोध्या का नहीं बल्कि कर्नाटक का है।

इन सबके अलावा कुछ तस्वीरों का सेट भी अयोध्या का बताकर फैलाया गया है। कई ग्रुप्स और उपयोगकर्ताओं ने कुछ तस्वीरों का सेट अयोध्या का बताकर पोस्ट किया है। सूर्यनारायण- बजरंगदल जिनके फेसबुक परिचय के अनुसार ये अखिल भारतीय बजरंगदल के सह-संयोजक हैं, इन्होने भी कुछ तस्वीरें अयोध्या प्रोग्राम बताते हुए पोस्ट की है, जिसे 500 से अधिक बार शेयर किया गया है। सूर्यनारायण को फेसबुक पर 9 हजार से ज्यादा लोग फॉलो करते हैं। इनके पोस्ट को Citizen Of INDIA और Namo Bharath – Narendra Modi For PM फेसबुक पेज ने शेयर किया है। Citizen Of INDIA पेज के 77000 से ज्यादा और Namo Bharath – Narendra Modi For PM पेज के 5 लाख से भी ज्यादा फॉलोअर्स हैं।

Suryanarayan Bajrangadal

मिशन राम मंदिर में अपने १०० मित्रों को जोड़े, ग्रुप में भी इन्हीं तस्वीरों के साथ कुछ और भी तस्वीरों को यह कहते हुए पोस्ट किया गया है, “हो सकता है आप 25 नवंबर को अयोध्या नहीं जा सकते कम से कम अयोध्या की तरफ जाने वाले रामभक्तो को जय श्रीराम कहकर हौसला अफजाई तो करे।” पोस्ट को 1100 से अधिक बार शेयर और 13 हजार लाइक मिले हैं। तस्वीरों को WE SUPPORT PM MODI ग्रुप में भी शेयर किया गया है, इस ग्रुप में 20 लाख से भी ज्यादा सदस्य हैं। बजरंगदल के सह-संयोजक सूर्यनारायण ने 4 तस्वीरें पोस्ट की है, जिनमें दूसरी और चौथी एक ही तस्वीर है।

क्या ये तस्वीरें अयोध्या की हैं?

पहली तस्वीर

एक आसान सा टूल गूगल रिवर्स इमेज सर्च का उपयोग करने से इन तस्वीरों की सच्चाई सामने आ जाती है। हमने सभी तस्वीरों का बारी-बारी से गूगल रिवर्स इमेज सर्च किया पहली तस्वीर के सर्च रिजल्ट में ‘मराठा क्रांति मोर्चा’ शब्दों से हमें असली तस्वीर मिली।

maratha-march

दरअसल यह तस्वीर जिन्हें अयोध्या में उमड़े जनसैलाब का बताकर फैलाया जा रहा है, ये मराठा आरक्षण आन्दोलन की हैं जिसमें हजारों की संख्या में किसान जमा होकर आरक्षण की मांग कर रहे थे। अमर उजाला में 9 अगस्त 2017 को छपे लेख में यह तस्वीर देखी जा सकती है।

amarujala-maratha

थोड़ी और छान-बिन करने पर हमें मराठा क्रांति मोर्चा महाराष्ट्र के फेसबुक और ट्विटर से एक ही दिन यानि 15 अक्टूबर, 2016 का पोस्ट मिला जिसमें कई अन्य तस्वीरों के साथ यह फोटो भी शामिल है।

maharashtrakranti-morcha

दूसरी तस्वीर

दूसरी तस्वीर का भी गूगल रिवर्स इमेज सर्च करने से हमें 3 मार्च, 2017 को छपे न्यूज़ 18 के रिपोर्ट में इस कैप्शन “जयपुर में सवर्ण आरक्षण के लिए करणी सेना के आह्वान पर निकाली गई रैली और धरना-प्रदर्शन की तस्वीरें” से ये तस्वीर मिली।

news18-jaipur

तीसरी तस्वीर

तीसरी तस्वीर का भी गूगल रिवर्स इमेज की सहायता से हम असली तस्वीर तक पहुंचे। दरअसल यह तस्वीर इंडियन एक्सप्रेस के फोटो पत्रकार दीपक जोशी ने ली है, जिसे 16 अक्टूबर, 2016 के इंडियन एक्सप्रेस के “Maratha ‘silent march’ reaches Thane district” (मराठा का शांतिपूर्ण मार्च ठाणे जिला पहुंचा- अनुवाद) में देखा जा सकता है।


इस तरह हमने देखा की पोस्ट की गई तस्वीरें और वीडियो जिन्हें 25 नवम्बर, 2018 को आयोजित धर्म-सभा का बताकर फैलाया गया है, ये काफी पुरानी हैं और अलग-अलग संदर्भ से ली गई हैं।

डोनेट करें!
सत्ता को आईना दिखाने वाली पत्रकारिता का कॉरपोरेट और राजनीति, दोनों के नियंत्रण से मुक्त होना बुनियादी ज़रूरत है. और ये तभी संभव है जब जनता ऐसी पत्रकारिता का हर मोड़ पर साथ दे. फ़ेक न्यूज़ और ग़लत जानकारियों के खिलाफ़ इस लड़ाई में हमारी मदद करें. नीचे दिए गए बटन पर क्लिक कर ऑल्ट न्यूज़ को डोनेट करें.

बैंक ट्रांसफ़र / चेक / DD के माध्यम से डोनेट करने सम्बंधित जानकारी के लिए यहां क्लिक करें.

Tagged:
About the Author

She specializes in information verification, examining mis/disinformation, social media monitoring and platform accountability. Her aim is to make the internet a safer place and enable people to become informed social media users. She has been a part of Alt News since 2018.