अयोध्या में 22 जनवरी 2024 को राम मंदिर के गर्भगृह में हिन्दू देवता राम की मूर्ति स्थापित की जाएगी और उसी दिन उनकी प्राण प्रतिष्ठा भी होगी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ समेत कई नेता इस आयोजन में शामिल होंगे. समूचे देश से 6000 से ज्यादा लोगों को आयोजन में शामिल होने के लिए न्योता भेजा गया है. इसके अलावा भी श्रद्धालुओं की भीड़ आने की संभावना है जिसको लेकर सरकार सजग है और श्रद्धालु की संभावित भीड़ को ध्यान में रखते हुए सारी व्यवस्था की जा रही है.

इसी बीच सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल है जिसमें कई टॉयलेट शीट एक लाइन में रखी हुई है. इसे शेयर करते हुए दावा किया जा रहा है कि अयोध्या में राम मंदिर में होने वाले कार्यक्रम के लिए सरकार ने सार्वजनिक शौचालय बनवाए हैं, इन शौचालयों के बीच कोई दीवार नहीं है.

भारतीय एयर फोर्स के रिटायर्ड फ़ाइटर पायलट राजीव त्यागी ने वीडियो शेयर करते हुए कहा कि अयोध्या आने वाले विजिटर्स के लिए खुले शौचालयों की व्यवस्था की गई है. (आर्काइव लिंक)

एक यूज़र ने व्यंग्यात्मक रूप से वीडियो ट्वीट करते हुए लिखा कि ये पूर्णतः प्राचीन अखण्ड भारत के शौचालय बनाए गए हैं. (आर्काइव लिंक)
तनवीर नाम के यूज़र ने वीडियो ट्वीट करते हुए तंज कसा कि अयोध्या में राम मंदिर देखने आने वाले विजिटर्स के लिए अत्याधुनिक शौचालय बनाए जा रहे हैं. (आर्काइव लिंक)

फ़ैक्ट-चेक

हमने वायरल वीडियो के फ्रेम्स को गूगल पर रिवर्स इमेज सर्च किया तो हमें ये वीडियो कई यूज़र द्वारा यूट्यूब पर अपलोड किया हुआ मिला. वीडियो पर टेक्स्ट लिखा था कि ये वीडियो बनारस (वाराणसी) का है. शिवम शाक्या नाम के एक यूट्यूब चैनल ने ये वीडियो 2 जनवरी को यूट्यूब पर अपलोड करते हुए लिखा था कि ये बनारस में स्वर्वेद मंदिर में आये भक्तों की सुविधा के लिए है.

गूगल पर की-वर्ड्स सर्च करने पर हमें कई आर्टिकल्स मिले जिसके मुताबिक, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 18 दिसंबर 2023 को 20,000 लोगों के ध्यान में बैठने की क्षमता वाले और कमल के फूल जैसे स्वरूप में बने दुनिया के सबसे बड़े इस मेडिटेशन सेंटर स्वर्वेद मंदिर का उद्घाटन किया था.

अधिक जानकारी के लिए हमने बनारस (वाराणसी) और स्वर्वेद मंदिर से जुड़े की-वर्ड्स यूट्यूब पर सर्च किये. हमें कई वीडियोज़ मिले जिसमें मंदिर निर्माण और इससे जुड़ी व्यवस्था दिखाई गई है. इसी क्रम में हमें ‘सुधीर पांडेय वलोग्स’ नाम के यूट्यूब चैनल पर 13 दिसंबर 2023 को पोस्ट किया हुआ एक वीडियो मिला. इस वीडयो के 12 सेकेंड पर वायरल वीडियो वाला हिस्सा आता है जिससे यह कन्फर्म किया जा सकता है कि वायरल वीडियो अयोध्या का नहीं बल्कि बनारस (वाराणसी) का ही है.

इसी वीडियो के 9 मिनट 57 सेकेंड टाइम्फ्रेम पर साफ तौर पर देखा जा सकता है कि ये शौचालय खुला नहीं था जैसा वायरल पोस्ट में दावा किया जा रहा है. बल्कि इसको चारों तरफ से घेरने के लिए मोटे प्लास्टिक की टेंट (त्रिपाल) का इस्तेमाल किया गया था. वीडियो में साफ तौर पर दिख रहा है कि एक महिला उसे सेट कर रही है. यानी कि वायरल वीडियो में दिख रहे शौचालय की व्यवस्था खुले में नहीं है, असल में ये वीडियो अर्धनिर्मित शौचालय का है जब उसमें टेंट को सेट किया जा रहा था.

कुल मिलाकर, वायरल वीडियो अयोध्या का नहीं बल्कि वाराणसी के स्वर्वेद मंदिर के उद्घाटन समारोह में आने वाले श्राद्धालुओं के लिए अस्थायी शौचालय के अर्धनिर्माण का है. इस वीडियो को शेयर करते हुए झूठा दावा किया गया कि ये अयोध्या राम मंदिर के उद्घाटन से पहले की व्यवस्था दिखा रहा है.

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