सोशल मीडिया पर 25 सेकंड का एक वीडियो वायरल है जिसमें भीड़ एक पुलिसकर्मी को पीट रही है. वीडियो में एक महिला पुलिसवाले की चप्पल से पिटाई करती हुई दिखती है. दावा है कि बरेली पुलिस द्वारा चालान काटने पर ‘शांतिदूतों’ ने पुलिसकर्मी की पिटाई कर दी. इन्टरनेट के क्रूर उपहास की दुनिया में ‘शांतिदूत’ शब्द का उपयोग मुस्लिम समुदाय के लोगों के लिए किया जाता है. यूपी भाजपा के प्रदेश कार्यसमिति सदस्य आशीष सिंह माही ने ये वीडियो ट्वीट करते हुए लिखा, “बरेली पुलिस द्वारा चालान काटने पर शांतिदूतों ने उनकी पिटाई की है , ये किस प्रकार के लोग हैं जो ना कानून का सम्मान करते हैं ना न्याय व्यवस्था का. @Uppolice @shalabhmani और @myogiadityanath जी बुलडोजर से नीचे कुछ भी स्वीकार नहीं।” आर्टिकल लिखे जाने तक इस वीडियो को 53 हज़ार से ज़्यादा बार देखा जा चुका है. (ट्वीट का आर्काइव लिंक)

ट्विटर यूज़र ‘वन्दे भारतम् Ms Gagan Goyal’ ने ये वीडियो बरेली का बताते हुए ट्वीट किया जिसे आर्टिकल लिखे जाने तक 54 हज़ार से ज़्यादा व्यूज़ मिले हैं. ये ट्वीट मधू कीश्वर ने भी कोट-ट्वीट किया है. मधू कीश्वर ने पहले भी कई बार सोशल मीडिया पर गलत जानकारियां शेयर की है जिसे आप यहां पढ़ सकते हैं. (आर्काइव लिंक)

फ़ेसबुक यूज़र ‘चौकीदार एक रियल हिन्दुस्तानी’ ने ये वीडियो इसी दावे के साथ पोस्ट किया. (पोस्ट का आर्काइव लिंक)

 

Bareilly police द्वारा चालान काटने पर शांतिदूतों की ऐसी हरकत सामने आयी हैं😡
शायद ये भूल गए की महाराज जी की प्रदेश में कानून का सम्मान नहीं करोगे तो ऐसी अराजक हरकत का अंजाम क्या होगा,
ऐसे लोगो पर शख्त से शख्त कारवाई होनी चाहिए
इनका इलाज जरुरी हो गया है।

Posted by Chaukidar EK Real Hindustani on Thursday, 21 January 2021

फ़ेसबुक और ट्विटर पर ये वीडियो वायरल है.

फ़ैक्ट-चेक

की-वर्ड्स सर्च करने पर हमें 29 अगस्त 2018 की आज तक की वीडियो रिपोर्ट मिली. इस रिपोर्ट के मुताबिक, “ग़ाज़ियाबाद में एक महिला और कुछ तमाशबीनों ने पुलिसवाले की जमकर पिटाई की. पुलिसवालों पर थप्पड़, लात-घूंसे चप्पल सब बरसाए गए.” दिल्ली आज तक की इस रिपोर्ट में तत्कालीन एसएसपी वैभव कृष्णा का बयान भी शामिल है.

वैभव कृष्णा का बयान गाज़ियाबाद पुलिस के ऑफ़िशियल ट्विटर हैन्डल से 27 अगस्त 2018 को ट्वीट किया गया था. इसमें वैभव बताते हैं कि गाज़ियाबाद के लोनी थाना इलाके में एक व्यक्ति की बैंक कर्मचारी से कहासुनी हो गई थी. बैंककर्मी ने पुलिस को बुलाया था जिसके बाद पुलिस और पीआरवी वहां पर पहुंचे. एसएसपी के मुताबिक, “पीआरवी कर्मी से जो वहां के लोकल लोग हैं, उनके द्वारा हाथापाई की जा रही है. जिसमें महिला भी दिख रही है. इस प्रकरण में अभियोग पंजीकृत कर लिया गया है. 2 लोगों की गिरफ़्तारी भी हो गई है. अन्य जितने भी लोग वीडियो में दिख रहे हैं उनकी गिरफ़्तारी शीघ्र होगी.”

27 अगस्त 2018 की जागरण की रिपोर्ट के मुताबिक, “बलराम नगर कॉलोनी स्थित भारतीय स्टेट बैंक के बाहर सोमवार को महिला और उसके साथियों द्वारा पुलिस कर्मी को चप्पल से पीटने का वीडियो वायरल होने से विभाग में हड़कंप मच गया। बैंक में आधार कार्ड बनवाने को लेकर एक युवक और बैंक कर्मियों के बीच झगड़ा हो गया।” रिपोर्ट में आगे बताया गया है कि इस कहासुनी के बीच पीसीआर 2172 पर तैनात कांस्टेबलों ने इमरान को थप्पड़ मारा था जिससे वो बेहोश होकर ज़मीन पर गिर गया था. इमरान की ऐसी हालत देख वहां पर पहुंचे उसके परिवारवाले भड़क गए थे. वीडियो में कांस्टेबल अनूप कुमार की चप्पल से पिटाई कर रही महिला इमरान की बहन है. इस घटना के बाद इमरान को अस्पताल में भर्ती करवाया गया था. वहीं बैंक कर्मी ने इमरान और उसके परिवारों के खिलाफ़ शिकायत दर्ज करवाई थी.

नवभारत टाइम्स की साल 2018 की इसी मामले से जुड़ी एक फ़ैक्ट-चेक रिपोर्ट में एक प्रेस नोट शेयर किया गया था. इस प्रेस नोट में आरोपियों के नाम इस प्रकार बताए गए थे : 1. इमरान, पुत्र श्री इज़रायल 2. राशिद, पुत्र अख्तर 3. मो. इज़रायल, पुत्र श्री अब्दुल शकूर 4. फ़ईम, पुत्र श्री मो. नईम. प्रेस नोट के मुताबिक, इन 4 आरोपियों की गिरफ़्तारी की जा चुकी थी जबकि बाकी आरोपियों की तलाश जारी थी.

स्त्रोत : नवभारत टाइम्स

इसके अलावा, बरेली पुलिस ने वायरल वीडियो के ट्वीट पर जवाब देते हुए लिखा – “उक्त वीडियो की जांच के क्रम में वीडियो लगभग दो वर्ष पुराना है, जो गाजियाबाद जिले से सम्बन्धित है । जिसमें गाजियाबाद पुलिस द्वारा कार्यवाही की जा चुकी है ।”

कुल मिलाकर, गाज़ियाबाद के लोनी थाना क्षेत्र में साल 2018 में बैंककर्मी से हुए विवाद के चलते कुछ स्थानीय लोगों ने मौके पर पहुंची पुलिस से मारपीट की थी. इस घटना का वीडियो हाल में बरेली का बताते हुए शेयर किया जा रहा है.


ज़ी न्यूज़, सोशल मीडिया यूज़र्स ने ट्रैक्टर रैली की तैयारी के वीडियो के नाम पर आयरलैंड का वीडियो दिखाया :

डोनेट करें!
सत्ता को आईना दिखाने वाली पत्रकारिता का कॉरपोरेट और राजनीति, दोनों के नियंत्रण से मुक्त होना बुनियादी ज़रूरत है. और ये तभी संभव है जब जनता ऐसी पत्रकारिता का हर मोड़ पर साथ दे. फ़ेक न्यूज़ और ग़लत जानकारियों के खिलाफ़ इस लड़ाई में हमारी मदद करें. नीचे दिए गए बटन पर क्लिक कर ऑल्ट न्यूज़ को डोनेट करें.

बैंक ट्रांसफ़र / चेक / DD के माध्यम से डोनेट करने सम्बंधित जानकारी के लिए यहां क्लिक करें.

About the Author

Kinjal Parmar holds a Bachelor of Science in Microbiology. However, her keen interest in journalism, drove her to pursue journalism from the Indian Institute of Mass Communication. At Alt News since 2019, she focuses on authentication of information which includes visual verification, media misreports, examining mis/disinformation across social media. She is the lead video producer at Alt News and manages social media accounts for the organization.