बीते दिनों महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) के प्रमुख राज ठाकरे ने चेतावनी दी कि अगर मस्जिदों पर लगे लाउडस्पीकरों को 3 मई तक नहीं हटाया गया तो वे इसका जवाब देंगे और मस्जिदों के सामने लाउडस्पीकर में हनुमान चालीसा बजाएंगे. इसके बाद देशभर में लाउडस्पीकर को लेकर चर्चा जोरों पर है. कई राज्य जैसे मध्य प्रदेश, व महाराष्ट्र में इसपर बहस जारी है. उत्तर प्रदेश में लाउडस्पीकर को लेकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने निर्देश भी जारी किए गए हैं जिसमें धार्मिक स्थलों पर लगे लाउडस्पीकर की आवाज़ को धीमा करने व अवैध लाउडस्पीकरों को हटाने के निर्देश दिए गए हैं. इसी बीच एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल है जिसमें कई लोग दूर-दूर पर खड़े होकर सड़क पर अजान पढ़ रहे हैं. इस वीडियो को शेयर करते हुए यह दावा किया जा रहा है कि मुस्लिम समाज ने लाउडस्पीकर बंद होने पर उसके विकल्प में सड़क पर चिल्लाकर अजान पढ़ना शुरू कर दिया है.
सुदर्शन न्यूज़ ने ट्विटर पर वीडियो शेयर करते हुए लिखा, “क्या लाउडस्पीकर पर अजान का यह भी एक विकल्प हो सकता है?” (आर्काइव लिंक). एक दूसरे ट्वीट में सुदर्शन न्यूज़ ने वीडियो ट्वीट करते हुए लिखा, “तुम लाउडस्पीकर बंद कराओगे तो ये रास्ता निकालेंगे? अर्थात कानून नहीं मानेंगे ?” (आर्काइव लिंक)
तुम लाउडस्पीकर बंद कराओगे तो ये रास्ता निकालेंगे?
अर्थात कानून नहीं मानेंगे ?pic.twitter.com/vzMlYSHQ50
— Sudarshan News (@SudarshanNewsTV) April 26, 2022
भाजपा समर्थक मधु पूर्णिमा किश्वर ने वीडियो ट्वीट करते हुए लिखा, “इन्होंने लाउडस्पीकर बंद होने के बावजूद अजान के बहाने शोर मचाने का विकल्प ढूंढ लिया है. काश हम धिम्मी हिन्दू उनसे सबक लेते!” (आर्काइव लिंक)
Awesome!
इन्होंने लाउडस्पीकर बंद पर होने ke बावजूद अजान के bahane shor machane ka विकल्प ढूँढ लिया हैं…
Wish we Dhimmified Hindus would take lessons from them! pic.twitter.com/BlXd0J6J3M— Madhu Purnima Kishwar (@madhukishwar) April 25, 2022
सुदर्शन न्यूज़ के पत्रकार अभय प्रताप सिंह ने वीडियो ट्वीट करते हुए लिखा, “लाउडस्पीकर पर अजान का विकल्प खोज लिया गया है? ये वीडियो इस मानसिकता को स्पष्ट कर रहा है कि हिम्मत है तो रोक लो. लेकिन अगर इस सोच को नहीं रोका गया तो विषय सिर्फ अजान तक सीमित नहीं रहेगा, ये समझना जरूरी है.” (आर्काइव लिंक)
एकऔर ट्विटर यूज़र ने ये वीडियो शेयर करते हुए ऐसा ही दावा किया. (आर्काइव लिंक)
लोगों से इस वीडियो को शेयर करते हुए ये नहीं बताया कि ये कब और कहां हुआ.
फ़ैक्ट-चेक
मामले की पड़ताल करने के लिए जब हमने वीडियो के एक फ़्रेम को यानडेक्स पर रिवर्स इमेज सर्च किया तो हमें ‘वन इंडिया कन्नड़’ के यूट्यूब चैनल पर यह वीडियो मिला. इसे 8 अप्रैल 2020 को अपलोड किया गया था. यानी, ये वीडियो 2 साल पुराना है जिसका फिलहाल देश में चल रहे लाउडस्पीकर विवाद से कोई संबंध नहीं है. इस वीडियो के डिस्क्रिप्शन में लिखा है, “भारत में लॉकडाउन लगा है, सभी मंदिर मस्जिदों को बंद कर दिया गया है, इसलिए मुसलमानों को मस्जिद में नमाज़ अदा करने का अवसर नहीं मिला तो उन्होंने सड़क पर खड़े होकर अल्लाह की इबादत की.” (आर्काइव लिंक)
इस वीडियो से जुड़ी अधिक जानकारी इकट्ठा करने के लिए हमने जब इसे गौर से देखा तो पाया इसके एक फ्रेम में शिमला बिरयानी नाम की एक दुकान नज़र आती है और साथ ही इसमें डॉक्टर एन. राय का बोर्ड भी दिखता है. जब हमने इस मुद्दे पर डॉ एन. राय से बात की तो उन्होंने बताया कि ये जगह हावड़ा के पिलखाना में है.
यहां से मिली जानकारी के आधार पर गूगल पर कुछ की-वर्ड्स सर्च करने पर हमें ‘न्यू शिमला बिरयानी’ नाम के दुकान की तस्वीर ऑनलाइन फूड डिलीवरी ऐप ज़ोमेटो की वेबसाइट पर मिली. जब हमने वायरल वीडियो के एक फ्रेम को इस तस्वीर से मिलान किया तो पाया कि ये तस्वीर उसी जगह की है. मतलब स्पष्ट रूप से ये घटना जी. टी. रोड, पिलखाना, हावड़ा की है.
हमने शिमला बिरयानी नाम के दुकान के एक स्टाफ़ से बात की. उन्होंने हमें बताया कि वायरल वीडियो लॉकडाउन के दौरान का है जिसमें मुस्लिम समुदाय के लोग सड़क पर अज़ान पढ़ रहे थे.
इस मुद्दे पर हमने एक और स्थानीय व्यक्ति से बात की. उन्होंने भी हमें यही बताया कि ये वीडियो लॉकडाउन के समय का है जब मुस्लिम समुदाय के लोग सड़क पर अज़ान पढ़ रहे थे. हालांकि उन्होंने भी हमें वीडियो को लिए जाने का तारीख नहीं बताया. (नोट- ज्ञात हो कि इस वक्त देशभर में सभी मस्जिदें बंद थी.)
कुल मिलाकर, ये वीडियो कम से कम 2 साल पुराना है,और इसका अभी के लाउडस्पीकर विवाद से कोई संबंध नहीं है. 2 साल पुराने वीडियो को सुदर्शन न्यूज, व कई अन्य बीजेपी समर्थकों ने लाउडस्पीकर मामले के साथ जोड़कर शेयर किया.
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