मई के आख़िरी तीन हफ़्तों से लद्दाख के पूर्वी इलाके में भारत-चीन सीमा पर तनाव जारी है. इसको लेकर महेश विक्रम हेगड़े के पोस्टकार्ड न्यूज़ ने सोशल मीडिया पर एक तस्वीर शेयर की है जिसमें इज़राइल, रूस, अमेरिका और जापान जैसे देशों के कोट्स हैं.

ग्राफ़िक में दुनिया के बड़े नेताओं के हवाले से ये कोट्स लिखे गए हैं:

1. जो भारत पर हमला करने की योजना बना रहे हैं उन्हें पहले हमसे सामना करना होगा- इज़राइल (बेंजामिन नेतन्याहू)
2. हम हमेशा भारत के साथ हैं- रूस (व्लादिमीर पुतिन)
3. भारत हमारा मित्र है और हम हमेशा भारत के साथ हैं – अमेरिका (डॉनल्ड ट्रम्प)
4. अगर चीन भारत पर हमला करता है तो यह चीन के अंत की शुरुआत होगी- जापान (शिंज़ो आबे)

30 मई को फ़ेक न्यूज़ वेबसाइट पोस्टकार्ड न्यूज़ ने यह ख़बर अपने फ़ेसबुक पर पोस्ट की थी. इसे 850 से ज़्यादा बार शेयर किया गया (आर्काइव लिंक).

(ये भी पढ़ें: पोस्टकार्ड ‘न्यूज़’- लगातार ज़हर उगलने वाली फ़ेक न्यूज़ की मेगा फ़ैक्ट्री)

ऑल्ट न्यूज़ को व्हाट्सएप नंबर (+917600011160) और ऑफ़िशियल एंड्रॉइड ऐप पर इसका फ़ैक्ट-चेक करने के लिए कई लोगों ने रिक्वेस्ट की.

फ़ैक्ट-चेक

ऑल्ट न्यूज़ ने वायरल फोटो में दिए हुए सभी कोट्स सर्च किए लेकिन कोई भी संबंधित रिज़ल्ट सामने नहीं आया. हालांकि अमेरिका और रूस ने भारत और चीन के बीच तनाव को लेकर आधिकारिक बयान दिए हैं लेकिन वो सोशल मीडिया पर शेयर की जा रही बातों से कोसों दूर हैं.

27 मई को ट्रम्प ने दोनों एशियाई महाशक्तियों के बीच में मध्यस्थता करने की पेशकश की थी.

अगले दिन प्रसिडेंट ट्रम्प ने दावा किया कि उन्होंने पीएम मोदी से बात की तो उन्होंने कहा कि भारत और चीन के बीच बढ़े तनाव की वजह से वो ‘अच्छे मूड’ में नहीं थे.

लेकिन भारत सरकार ने प्रेसिडेंट ट्रम्प के उस दावे को ख़ारिज़ कर दिया जिसमें उन्होंने कहा था कि उन्होंने पीएम मोदी से लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (LAC) के मामले पर बात की है.

1 जून को रूस के दूत रोमन बबूष्की ने इंडिया टुडे से बातचीत में बॉर्डर पर तनाव को लेकर स्टेटमेंट दिया. उन्होंने कहा, “…दोनों देशों ने हॉटलाइन, विशेष प्रतिनिधि बातचीत और अनौपचारिक शिखर सम्मेलन जैसे विशेष तौर-तरीके विकसित किए हैं. हमें विश्वास है कि भारतीय और चीनी मित्र मिलकर इस समस्या का हल निकालने में सक्षम हैं. हम ऐसी हर कोशिश की सराहना करते हैं.”

जापान और इज़राइल ने इस मुद्दे पर कोई सार्वजनिक बयान जारी नहीं किया है. यहां ध्यान देने की बात है कि Nikkei Asian Review की रिपोर्ट के मुताबिक 2004 के बाद चीन ने हर साल अपना व्यापार बढ़ाया है. इस संस्थान को दिए एक इंटरव्यू में हाइफ़ा यूनिवर्सिटी के मैरीटाइम पॉलिसी एंड स्ट्रेटजी रिसर्च सेंटर के निदेशक प्रोफ़ेसर शॉल चोरेव ने कहा कि चीन के निवेश से इज़राइल ‘बहुत खुश’ है और ऐसी उम्मीद नहीं है कि ‘अमेरिका की इच्छा के मुताबिक’ काम किया जाएगा.

इसलिए सोशल मीडिया पर वायरल हो रही तस्वीर के हिसाब से इन देशों ने भारत-चीन तनाव पर भारत का समर्थन करने की पेशकश नहीं की है. पिछले कुछ हफ़्तों में बॉर्डर पर तनाव के चलते भारत और चीन के बारे में फ़ेक न्यूज़ की बाढ़ आ गई है. 29 मई को ऑल्ट न्यूज़ ने रिपोर्ट किया था कि टाइम्स नाउ ने हालिया तनाव बताते हुए पुराना वीडियो ब्रॉडकास्ट में दिखाया था. 21 मई और 2 जून को हमने रिपोर्ट किया था कि इसी दावे के साथ सोशल मीडिया पर पुराने वीडियोज़ वायरल हो रहे हैं.

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🙏 Blessed to have worked as a fact-checking journalist from November 2019 to February 2023.